Uproar : जीटीबी एकैडमी में पढ़ने वाली नन्ही छात्रा की खेलने के दौरान हुई मौत, स्कुल प्रबंधन और निजी अस्पताल पर लापरवाही का आरोप,हंगामा, परिजनों ने बच्ची के नेत्रदान कर पेश की मिसाल (देखे लाइव वीडियो )
रतलाम 17 फरवरी (इ खबर टुडे)। शहर के एक निजी स्कूल परिसर में गुरुवार सुबह कक्षा सातवीं की एक नन्ही बालिका की खेलने के दौरान अचानक मौत हो गई। बच्ची के परिजनों ने स्कूल प्रबंधन, और निजी चिकित्सालय पर लापरवाही के गंभीर आरोप लगाते हुए जिला चिकित्सालय में जमकर हंगाम्मा किया। लेकिन बाद में बच्ची के परिजनों ने बच्ची के नेत्रदान की घोषणा कर समाज के सामने एक अनुकरणीय मिसाल पेश की।
प्राप्त जानकारी के अनुसार यह दुःखद घटना बड़बड़ रोड स्थित श्री गुरु तेग बहादुर एकैडमी स्कूल में हुई। स्कुल की कक्षा सातवीं की छात्रा अक्षरा पिता निखिल मूणत निवासी सेठजी का बाज़ार 13 वर्षीय खेल गतिविधियों में हिस्सा लेने के दौरान अचानक गिर गई । स्कूल प्रबंधन छात्रा को 80 फीट रोड स्थित एक निजी अस्पताल में ले कर गए। जंहा डॉक्टर ने छात्र की जांच कर उसे जिला अस्पताल ले जाने को कहा। इसके बाद प्रबन्धन के लोग छात्रा को जिला अस्पताल लेकर आए। जंहा चिकित्सको ने उसे मृत घोषित कर दिया । बालिका की मौत की खबर मिलते ही उसके परिजन व रिश्तेदार बड़ी संख्या में जिला अस्पताल पहुंच गए । परिजनों ने निजी अस्पताल, और स्कूल प्रबन्धन पर लापरवाही के गंभीर आरोप लगाते हुए जमकर हंगामा किया ।
परिजनों के हंगामे के दौरान स्कुल की एक शिक्षक गौतम कश्यप की हालत बिगड़ने लगी। उन्हें अटेक आ गया। श्री गौतम को तुरंत जिला चिकित्सालय के आईसीयू में भर्ती कराया गया।
छात्रा के पिता निखिल ने मीडिया से बात करते हुए बताया कि उनकी बेटी को किसी प्रकार की कोई बीमारी नहीं थी। सूचना मिलने पर हम 80 फीट रोड अस्पताल पहुंचे। जहा मेरी बेटी का इलाज न करते हुए काफी देर तक अस्पताल परिसर के बाहर लेटा रखा था। स्कूल प्रबन्धन के चार सदस्य मिलकर बेटी को जिला अस्पताल आए। जहा उसे मृत घोषित करके शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा।
औद्योगिक क्षेत्र पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार पुलिस छात्रा की मौत के बारे में जानकारी जुटा रही हैं। स्कूल परिसर में लगे सीसीटीवी फुटेज को भी देखा जा रहे है। स्पष्ट नहीं कहा जा सकता कि छात्रा की मौत कैसे हुई पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद छात्रा की मौत का कारण स्पष्ट होगा। फ़िलहाल पुलिस ने मार्ग कायम कर मामले की जाँच शुरू कर दी है।
नन्ही बच्ची की असमय मृत्यु के बाद उसके परिजनों ने बच्ची के नेत्रदान करने का निर्णय लिया ,जिससे किसी अँधेरी जिंदगी में प्रकाश आ सके। बच्ची के पिता निखिल मूणत ने बताया कि परिवार के सभी सदस्यों ने बच्ची की स्मृति को चिरस्थायी रखने के लिए उसके नेत्रदान करने का निर्णय लिया है। उनके इस निर्णय की सर्वत्र प्रशंसा की जा रही है। इसे समाज के लिए एक अनुकरणीय मिसाल माना जा रहा है।