November 25, 2024

रतलाम:कार सेवकों ने साझा किए कार सेवा के अनुभव, आज भी ताजा हैं यादें…सुनिये कार सेवकों की जुबानी

रतलाम,05 अगस्त(इ खबरटुडे)। 5 अगस्त को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अयोध्या में राम मंदिर की आधारशिला रखने जा रहे हैं. ऐसे में सालों पहले राम मंदिर निर्माण के सपने के साथ कारसेवा करने पहुंचे देश के लाखों कारसेवकों की तपस्या का फल अब उन्हें मिलने जा रहा है.

अयोध्या में 1990 से लेकर दिसंबर 1992 तक कार सेवा में रतलाम से भी सैकड़ों कारसेवकों ने अपनी सेवा प्रदान की थी. उस दौर की यादों को ताजा करते हुए कारसेवकों ने अपने अनुभव साझा किए हैं. भगवान राम के भव्य मंदिर निर्माण का सपना पूरा होने पर सभी कारसेवकों ने खुशी जाहिर करते हुए सालों की तपस्या पूर्ण होने जैसा बताया है.

राम जन्मभूमि आंदोलन से जुड़े ऐसे कई कार्यकर्ता और कारसेवक हैं, जिन्होंने अलग-अलग समय पर अयोध्या पहुंचकर अपना योगदान इस आंदोलन में दिया है.

लंबे उतार-चढ़ाव के बाद राम मंदिर निर्माण की आधारशिला रखे जाने को लेकर रतलाम के कारसेवकों ने भी उन अनुभवों के बारे में बताया. वरिष्ठ पत्रकार तुषार कोठारी, एडवोकेट दशरथ पाटीदार, कमलेश पांडे और विहिप नेता निर्मल कटारिया ने अपने अनुभव साझा करते हुए बताया कि उनकी सेवा और तपस्या का फल मिलने जा रहा है. 1992 में कार सेवा करने पहुंचे तुषार कोठारी ने बताया कि विवादित स्थल का ढांचा गिराए जाने के दौरान वो भी अयोध्या में मौजूद थे.वो एकमात्र ऐसे शख्स थे, जिनके पास गर्भ गृह के अंदर फोटो कैमरा मौजूद था. जिस की कुछ दुर्लभ तस्वीरें उन्होंने अपनी किताब ‘कारसेवा आंखों देखी’ में प्रकाशित भी की थीं.राम मंदिर निर्माण की आधारशिला रखे जाने को लेकर उन्होंने खुशी जाहिर करते हुए समस्त कारसेवकों के लिए तपस्या पूर्ण होने का दिन बताया है.

कार सेवा करने वाले दशरथ पाटीदार ने भी मंदिर निर्माण का सपना पूर्ण होने पर रामलला के दर्शन करने जाने की बात कही है. तत्कालीन दौर में बजरंग दल के अध्यक्ष रहे निर्मल कटारिया भी 1990 से 1992 तक अयोध्या में कारसेवा के लिए पहुंचे थे. उन्होंने ने भी इसे सपना पूर्ण होने जैसा बताते हुए संपूर्ण देश के कारसेवकों की जीत बताया है.

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