Objection : कालिका माता की महूरोड स्थित भूमि पर साडी क्लस्टर बनाने की योजना पर लगाई आपत्ति,धर्मस्व मंत्री के सामने भी जताया विरोध
रतलाम,20 जनवरी(इ खबरटुडे)। कालिका माता मन्दिर के स्वामित्व की महू रोड स्थित भूमि साडी क्लस्टर निर्माण के लिए आरडीए को आवंटित किए जाने पर आपत्ति लगा दी गई है। आपत्तिकर्ता एडवोकेट प्रकाश मजावदिया ने धर्मस्व मंत्री उषा ठाकुर को भी पत्र भेजकर उक्त जमीन आरडीए को देने पर विरोध जताया है।
उल्लेखनीय है कि महूरोड कृषि उपज मण्डी के सामने कालिका माता के स्वामित्व की सर्वे न.1102 की 1.590 हेक्टेयर भूमि स्थित है। रतलाम तहसीलदार ने विगत 20 दिसम्बर को एक विज्ञप्ति जारी कर उक्त भूमि साडी क्लस्टर निर्माण के लिए रतलाम विकास प्राधिकरण को आवंटित किए जाने की बात कही गई है। यह विज्ञप्ति समाचार पत्रों में प्रकाशित किए जाने की बजाय तहसीलदार कार्यालय व अन्य कार्यालयों के नोटिस बोर्ड पर चस्पा की गई थी।
कालिका माता की भूमि आरडीए को आवंटित किए जाने सम्बन्धी विज्ञप्ति की जानकारी मिलने पर अभिभाषक प्रकाशचन्द्र मजावदिया,सनातन धर्मसभा के राजेन्द्र शर्मा,सोहनलाल व्यास व अन्य दो आपत्तिकर्ताओं ने तहसीलदार रतलाम के समक्ष अपनी आपत्ति प्रस्तुत की है। आपत्ति में कहा गया है कि सर्वे न.1102 की 1.590 हेक्टेयर भूमि रतलाम रियासत द्वारा कालिका माता मन्दिर के व्यवस्थापन के लिए दी गई थी। वर्तमान में कालिका माता मन्दिर परिसर के आसपास की भूमि पर उद्यान इत्यादि बना दिए गए है और नवरात्रि मेले के लिए भी जमीन कम पडने लगी है।
आपत्ति में कहा गया है कि उक्त भूमि शासकीय रेकार्ड में कालिका माता मन्दिर के नाम पर दर्ज होकर कोर्ट्स आफ वार्ड्स के अधीन है। कोर्ट्स आफ वार्डस की भूमि किसी को भी आवंटित नहीं की जा सकती। इसका अधिकार सिर्फ मध्यप्रदेश शासन को है। कालिका माता मन्दिर रतलाम नगर के लोगों की धार्मिक आस्था का केन्द्र है और इसके स्वामित्व की भूमि का उपयोग सिïर्फ धार्मिक प्रयोजन और कालिका माता मन्दिर के विस्तारीकरण इत्यादि के लिए ही किया जा सकता है।
आपत्ति में कहा गया है कि इन परिस्थितियों को देखते हुए आरडीए द्वारा चाहे गए उक्त भूमि के आवंटन की योजना को तत्काल प्रभाव से निरस्त किया जाए। आपत्तिकर्ता एडवोकेट प्रकाशचन्द्र मजावदिया ने प्रदेश की धर्मस्व मंत्री उषा ठाकुर को भी पत्र लिखकर कहा है कि रतलाम विकास प्राधिकरण द्वारा कालिका माता मन्दिर की भूमि के आवंटन सम्बन्धी आवेदन को निरस्त किया जाए।