दो दिन कार्य से विरत रहेंगे अभिभाषक
हायर एयुकेशन एण्ड रिसर्च बिल का विरोध
रतलाम,10 जुलाई (इ खबरटुडे)। मध्यप्रदेशराय अधिवक्ता परिषद के आव्हान पर कैन्द्र सरकार द्वारा प्रस्तुत किए जा रहे हायर एयुकेशन एण्ड रिसर्च बिल के विरोधमें 11 और 12 जुलाई को प्रतिवाद दिवस मनाकर जिला अभिभाषक संघ के सदस्य कार्य से विरत रहेंगे।
अभिभाषक संघ के सचिव राजेश शर्मा ने बताया कि भारत सरकार मानव संसाधन विकास मंत्रालय द्वारा हायर एयुकेशन एण्ड रिसर्च बिल 2011 पेश किया गया है। जो वर्तमान में स्टेडिंग कमेटी के पास विचाराधीन रखा गया है। इस बिल के द्वारा अधिवक्ताओं को अधिवक्ता अधिनियम के तहत दी गई स्वतंत्रता और संघीय ढांचे को विनिष्ट करने का प्रयास किया गया है।अभी तक भारत सरकार ने अधिवक्ताओं के ज्ञानवर्धन अथवा उनके अधिवक्ता बनने के पूर्व अध्य्यन के लिए1 रुपए की भी राशि नहीं दी। विदेशी दबाव में आकर बिल को पारित करने जा रही है। श्री शर्मा ने बताया कि बिल यदि पारित हो गया तो कैन्द्र सरकार के नियुक्त नुमाइंदों के माध्यम से पुरे देश का अभिभाषक नियंत्रित होगा और अभिभाषकों की स्वतंत्रता समाप्त हो जाएगी। इसलिए जिला अभिभाषक संघके सदस्य 11 और 12 जुलाई को धरना देकर दोपहर दोपहर 1 बजे राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन देंगे। संघ अध्यक्ष सुनील लाखोटिया, उपाध्यक्ष अनिल सारस्वत, सहसचिल धर्मेन्द्र पांडे, कोषाध्यक्ष कमलेश पालीवाल, पुस्तकालय सचिव धर्मेन्द्रसिंह चौहान, कार्यकारिणी सदस्य सतीश त्रिपाठी, विरेन्द्र कुलकर्णी, जितेन्द्र मेहता, करणसिंह राजावत, लोकेन्द्रसिंह गेहलोत, कुलजीतसिंह चौहान, तेजकुमार चौधरी, उदय केसड़िया, सुश्री हंसा पाठक ने अभिभाषकों से धरना प्रदर्शन में उपस्थित रहने की अपील की है।