अमरावती के वृ्द्ध दंपति के शव शिप्रा नदी में तैरते मिले
मोबाईल लोकेशन के आधार पर परिजन उज्जैन पहुंचे
उज्जैन,26 अप्रैल(इ खबरटुडे)।गुरुवार सुबह नृसिंह घाट पुल क् षेत्र में सफाई करने पहुंचे कर्मचारी को नदी में दो लाशें तैरती दिखीं जिसकी सूचना उसने रामघाट चौकी को दी। सूचना मिलते ही पुलिस व तैराकों की टीम पहुंची और शवों को पानी से निकालकर पोस्टमार्टम के लिये जिला चिकित्सालय पहुंचाया। पुलिस मृतकों की शिनाख्ती के दौरान ही दो लोग सीधे महाकाल थाने पहुंचे और उन्होंने अपने परिजनों के लापता होने की सूचना पुलिस को दी । पुलिस ने उन लोगों से गुमशुदा ओं का हुलिया व उम्र पूछा और मोबाइल में फोटो दिखाए जिनकी शिनाख्त उक्त लोगों ने अपने काका गिरिराव 75 एवं नलिनी 70 निवासी धनोरा थाना माउली जिला अमरावती महाराष्ट्र के रूप में की।
नृसिंह घाट पुल से नृसिंहघाट त क सफाई करने वाला नानूकहार रोज की तरह यहां सफाई कर रहा था तभी उसने बीच नदी में दो शव तैरते दिखे। नानू ने इसकी सूचना रामघाट चौकी पर दी जहां से आरक्षक मु केश मीणा, होमगार्ड आपदा दल प् रभारी कृष्णपाल सिंह, सैनिक दे वचंद के साथ यहां पहुंचे और था ने को भी अवगत कराया।थाने से एस आई निरंजन शर्मा वअन्य पुलिसकर्मियों ने तैराकों की मदद से नदी में तैर रहे शवों को बाहर निका ला। मृतकों में पुरुष की उम्र 7 5 वर्ष के लगभग प्रतीत हो रही थी, जबकि वृद्धा की उम्र 70वर्ष थी । पुरुष ने धोती-कुर्ता पहना था , जबकि महिला के शरीर पर हरी सा ड़ी पहन रखी थी। वृद्ध के कुर् ते की जेब से पुलिस ने ७० रुपये बरामद किए, वहीं पास में पड़ा हैंडबैग भी मिला जिसमेंबिंदी,कुमकुम आदि सामान था। दोनों की शिनाख्ती के लिए पुलिस को मौके से कुछ भी बरामद नहीं हुआ। इसी कारण शवों के पोस्टमार्टम के लिए जिला अस्पताल पहुंचाया गया और वायरलेस सेट पर अज्ञात शव बरामद हो ने की सूचना भी प्रसारित की गई। इसी दरमियान अपने काका-काकी को ढूंढते महाकाल थाने पहुंचे भतीजे गौरव ने बता या काका गिरीरावऔर काकी नलिनी 2 4 अप्रैल को घर से निकले थे। इस के पूर्व दोनों का छोटे बेटे प्रताप कोकाटे से घरेलू बात पर विवाद भी हुआ था। गिरीराव और नलिनी दर्शनों का कहकर निकले लेकिन वापस नहीं लौटे।
शंका होने पर परिजन उन्हें तलाशने के बाद थाने में गुमशुदगी लि खाने भी गये थे। पुलिस ने काका गिरीराव का मोबाइल ट्रेस किया जि स पर परिजनों की रात में बात भी हुई थी। परिजनों ने गिरीराव से कहा था कि घर लौट आओ लेकिन उन् होंने वापस लौटने से इंकार कर दि या था। उनसे पूछा कि कहां हैं तो उन्होंने कुछ नहीं बताया। इस प र काका गिरीराव से कहा किकिसी दू सरे व्यक्ति को फोन दो। दूसरा व् यक्ति हिंदी में बात कर रहा था और उसी ने बताया कि काका-काकी उज्जैन में हैं।
दामाद विलास पराडे के अनुसार मृतक दंपत्ति के दो पुत्र प्रताप एवं अविनाश के साथ एक पुत्री वर्षा है। तीनों का विवाह किया जा चुका है। मृतक दंपत्ति के पास 15 एकड खेती है पुरा परिवार खेती से ही जुड़ा हुआ है। उनका कहना था कि दोनों दंपत्ति प्रति वर्ष उज्जैन तीर्थ करने आते थे । महाकाल थाना प्रभारी एमएस परमार के अनुसार प्रारंभिक रूप से वृद्ध दंपत्ति का यह मामला खुदकुशी का प्रतीत हो रहा है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद ही विस्तृत रूप से कुछ कहा जा सकेगा। दंपत्ति के परिजनों से जानकारी ली जा रही है।