December 24, 2024

राज्यसभा चुनाव से चंद घंटे पहले बसपा-सपा को तगड़ा झटका, अंसारी-हरिओम नहीं दे पाएंगे वोट

download

लखनऊ, 22 मार्च (ई खबर टुडे)। उत्तर प्रदेश की 10 राज्यसभा सीटों का चुनाव बेहद दिलचस्प हो गया है. वोटिंग से चंद घंटे पहले सपा के साथ-साथ बसपा को भी तगड़ा झटका लगा है. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बसपा विधायक मुख्तार अंसारी के वोट डालने पर रोक लगा दी है. उधर, जेल में बंद सपा विधायक हरिओम यादव को भी प्रशासन ने वोट डालने इजाजत नहीं दी है. दो विधायकों के वोट नहीं दे पाने की सूरत में विपक्ष की लामबंदी को करारा झटका लगा है.
बसपा की ताकत 19 से घटकर हुई 18

मुख्तार अंसारी को वोट डालने की निचली अदालत के आदेश को ऐन वक्त पर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने रोक दिया. अंसारी बांदा जेल में बंद हैं. स्पेशल जज गाजीपुर ने 20 मार्च को अंसारी को वोट देने की छूट दी थी. लेकिन योगी सरकार ने स्पेशल जज के आदेश को हाईकोर्ट में चुनौती दे दी थी. इस पर सुनवाई करते हुए आज जस्टिस राजुल भार्गव की एकलपीठ ने निचली अदालत के आदेश पर रोक लगाते हुए अंसारी के राज्यसभा के चुनाव में वोट डालने पर पाबंदी लगा दी. हाईकोर्ट के आदेश की कॉपी बांदा जिला जेल को फौरन भेजने को कहा गया है. इस फैसले के कुछ ही देर बाद मायावती अपने विधायकों के साथ बैठक कर रही हैं. कल होने वाले राज्यसभा चुनाव को लेकर मायावती अपने प्रत्याशी की जीत सुनिश्चित करने के लिए मंथन कर रही हैं.

सपा को भी झटका

सपा की उम्मीदें भी टूटी हैं. फिरोजाबाद की जेल में बंद सपा विधायक हरिओम यादव भी कल होने वाले राज्यसभा के चुनाव में वोट नहीं डाल पाएंगे. जेल प्रशासन ने उन्हें वोट डालने की इजाजत नहीं दी है. हरिओम यादव सिरसागंज से विधायक हैं.

बसपा के लिए अखिलेश का गणित

मायावती अपने विधायकों के साथ सपा और कांग्रेस से उम्मीद लगाए हुए हैं. हालांकि सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने बीएसपी उम्मीदवार को जिताने के लिए पूरी ताकत झोंक दी है. बुधवार को चाचा शिवपाल यादव और निर्दलीय विधायक रघुराज प्रताप सिंह को अपनी डिनर पार्टी में बुलाकर अपनी सियासी ताकत का एहसास बीजेपी को करा दिया है. रघुराज प्रताप के पास खुद का और एक वोट उनके सहयोगी विनोद सरोज का है. इस तरह उनके पास दो वोट हैं. राज्यसभा के लिए दोनों वोट काफी अहम माने जा रहे हैं.
भाजपा को मिलेगा फायदा

राज्यसभा की दसवीं सीट की लड़ाई में जब एक-एक वोट बेहद कीमती है, ऐसे में सपा और बसपा के दो वोट कट जाने से बीजेपी का पलड़ा थोड़ा मजबूत होता दिख रहा है. एक राज्यसभा सीट को जीतने के लिए 37 वोटों की जरूरत है. बीजेपी अपने सहयोगियों के साथ 8 राज्यसभा सीटों पर आसानी से जीत जाएगी. इसके बाद 28 वोट अतिरिक्त बचते हैं. ऐसे में 9वीं सीट के प्रत्याशी अनिल अग्रवाल को जिताने के लिए उसे 9 और वोटों की जरूरत पड़ेगी. निर्दलीय और सपा-बसपा के बागी विधायकों के सहारे बीजेपी अपनी जीत की आस लगाए हुए हैं.

एक सीट के लिए कांटे की टक्कर

सूबे के मौजूदा विधायकों की संख्या के लिहाज से बीजेपी के 8 और सपा के एक सदस्य की जीत तय है. बीजेपी के 9वें उम्मीदवार अनिल अग्रवाल और बीएसपी के एकलौते प्रत्याशी भीमराव अंबेडकर के बीच कांटे का मुकाबला है.

You may have missed

Here can be your custom HTML or Shortcode

This will close in 20 seconds