निगम ने बांटे तीन हजार भोजन पैकेट,लेकिन ताक पर रख दी सोशल डिस्टेस्टिंग
रतलाम,04 अप्रैल (इ खबरटुडे)। कोरोना संकट के चलते शहर में मौजूद गरीब और बेसहारा व्यक्तियों को भोजन उपलब्ध कराने की जिम्मेदारी नगर निगम को दिए जाने के बाद शनिवार को निगम द्वारा छ: हजार भोजन पैकेट वितरित किए गए। हांलाकि भोजन वितरण की इस व्यवस्था में सोशल डिस्टेस्टिंग की धज्जियां उडती रही। भोजन वितरण के दौरान एक एक आटो में पांच पांच कर्मचारी सवार होकर सोशल डिस्टेस्टिंग को धता बता रहे थे।
लाक डाउन प्रारंभ होने के बाद से गरीबों को भोजन वितरित करने की जिम्मेदारी जिला पंचायत को सौंपी गई थी। शुरुआती दिक्कतों के बाद जैसे तैसे जिला पंचायत की भोजन वितरण व्यवस्था ठीक होने लगी थी,कि अचानक जिला प्रशासन ने व्यवस्था में बदलाव करते हुए भोजन वितरण की जिम्मेदारी नगर निगम को सौंप दी। नगर निगम ने जिला पंचायत के बनाए हुए नेटवर्क को ही अपनाते हुए शहर को छ: झोन में बांट कर भोजन वितरण के लिए पांच-पांच लोगों की छ: टीमें बनाई और इन्हे भोजन वितरण की जवाबदारी सौंप दी।
निगम ने भोजन वितरण के लिए उन्ही आटो चालकों का उपयोग किया जो अब तक भोजन वितरण कर रहे थे।
शनिवार को भोजन वितरण तो ठीक ठाक हो गया,लेकिन इस व्यवस्था मे सोशल डिस्टेस्टिंग को ताक पर रख दिया गया। निगम द्वारा भोजन वितरण के लिए लगाए गए हर आटो में निगम द्वारा नियुक्त पांच पांच लोग सवार हुए और भोजन वितरण के काम पर लग गए। भोजन वितरण में लगे कर्मचारियों को ना तो मास्क दिए गए और ना ही सैनेटाइजर उपलब्ध कराए गए। कर्मचारियों ने इन सुरक्षा साधनों की मांग भी की,लेकिन अधिकारियों ने उन्हे कोई जवाब नहीं दिया।