November 23, 2024

Madhya Pradesh: केंद्रीय मंत्री गडकरी ने इंदौर में कहा- हाइड्रोजन ईंधन से चलने वाले वाहनों की ओर बढ़ना चाहिए

इंदौर,06मई(इ खबर टुडे)। केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने गुरुवार को देवी अहिल्या विश्व विद्यालय में “आत्मानिर्भर भारत की और बढ़ते कदम” विषय पर व्याख्यान दिया। इस दौरान उन्होंने आयातित पेट्रोलियम उत्पादों पर निर्भरता कम करने और हाइड्रोजन ईंधन की ओर बढ़ने की बात कही।

केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि आयातित पेट्रोलियम उत्पादों पर निर्भरता कम करने के लिए देश को हाइड्रोजन ईंधन पर चलने वाली ट्रेनों, हवाई जहाजों, वाहनों और कारखानों की ओर बढ़ना चाहिए। आज हम पानी से हाइड्रोजन को अलग करके कार चला सकते हैं। मैं खुद एक ऐसी कार का उपयोग करता हूं जो हाइड्रोजन ईंधन से चलती है, और यह कोई शोर या धुआं नहीं करती है।

उन्होंने कहा कि आने वाले दिनों में ट्रेन, हवाई जहाज, ट्रक और बसें चलाने के लिए कदम उठाए जाने चाहिए और विशेष रूप से हाइड्रोजन जैसे वैकल्पिक ऊर्जा स्रोत का उपयोग करके रसायन और सीमेंट बनाने वाली फैक्ट्रियों और इस क्षेत्र में अनुसंधान किया जाना चाहिए।

देश में आयात पर निर्भरता पर चिंता व्यक्त करते हुए गडकरी ने कहा, हम हर साल 10 लाख करोड़ रुपये के पेट्रोलियम उत्पादों और पेट्रोल-डीजल का आयात करते हैं। हालांकि हमारे पास कोयले का भंडार है, फिर भी हम इसका आयात करते हैं। इसी तरह, हम तांबे और लोहे का भंडार होने के बावजूद आयात करते हैं।

उन्होंने कहा कि देश को आत्मनिर्भर बनाने के लिए मेन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा देना चाहिए, निर्यात को बढ़ाना चाहिए और आयात को कम करना चाहिए। मंत्री ने आगे कहा कि चूंकि स्टील निर्माताओं ने कीमतों में बढ़ोतरी की है, वह निर्माण में स्टील फाइबर के उपयोग की अनुमति देंगे, जो स्टील से 40 फीसदी सस्ता है।

गडकरी ने भूतल परिवहन मंत्रालय की बड़ी बजट परियोजनाओं के बारे में कहा, देश में सरकारी परियोजनाओं के लिए धन की कमी है। इस मामले में मजबूत और सकारात्मक राजनीतिक इच्छा शक्ति सबसे महत्वपूर्ण है। संसाधनों और प्रौद्योगिकी की आवश्यकता बाद में आती है।

हम ऐसे विमान पेश कर रहे हैं जो पानी पर उतर सकते हैं। मैं एक बस भी ला रहा हूं जो हवा में उड़ती है, जिसमें 250 लोग बैठ सकते हैं और यह फिलीपींस में है। नागरिकों के बीच उद्यमिता विकसित करने की आवश्यकता पर जोर देते हुए मंत्री ने बड़ी संख्या में उपस्थित छात्रों से कहा, आपको नौकरी तलाशने वाला नहीं बनना चाहिए, बल्कि दूसरों को रोजगार प्रदान करने वाला बनना चाहिए।

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