December 28, 2024

PM CM Meeting : प्रधानमंत्री की 6 राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ चर्चा ,महाराष्ट्र और केरल में कोरोना मामलों में वृद्धि को चिंता का कारण बताया

PM Modi's meeting with District Magistrates

नई दिल्ली,16 जुलाई (इ खबर टुडे) । प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, कर्नाटक, ओडिशा, महाराष्ट्र और केरल के सीएम के साथ बातचीत करके कोविड की स्थिति पर चर्चा की। बैठक में केंद्रीय गृह मंत्री, स्वास्थ्य मंत्री भी मौजूद थे। मुख्यमंत्रियों ने प्रधानमंत्री को कोविड से निपटने में हर संभव मदद और समर्थन देने के लिए धन्यवाद दिया।उन्होंने प्रधानमंत्री को टीकाकरण की प्रगति और उनके राज्यों में वायरस के फैलाव को रोकने के लिए उठाए जा रहे कदमों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने टीकाकरण रणनीति के बारे में फीडबैक भी दिए।

मुख्यमंत्रियों ने चिकित्सा अवसंरचना को बढ़ावा देने के लिए उठाए गए कदमों की चर्चा की और भविष्य में मामलों की किसी भी संभावित वृद्धि से निपटने के बारे में सुझाव दिए। उन्होंने मरीजों के सामने आ रहे कोविड बाद के विषयों तथा ऐसे मामलों में सहायता प्रदान करने के लिए उठाए जा रहे कदमों पर भी चर्चा की।मुख्यमंत्रियों ने आश्वासन दिया कि वे संक्रमण में वृद्धि पर काबू पाने की पूरी कोशिश कर रहे हैं।

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि इन छह राज्यों में जुलाई माह के दौरान कुल मामलों का 80 प्रतिशत से अधिक हिस्सा है, जबकि इनमें से कुछ राज्यों में टेस्ट पॉजिटिविटी की दर बहुत अधिक है। केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव ने देश में कोविड मामलों पर चर्चा की और हाई केस लोड वाले जिलों में कोविड उपयुक्त व्यवहार और रोकथाम उपायों को मजबूत बनाने की आवश्यकता जताई। उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि इन जिलों को खोलने का कार्य क्रमिक रूप से और जांच-परख कर किया जाना चाहिए।

प्रधानमंत्री ने राज्य सरकारों के आपसी सहयोग और महामारी के खिलाफ उनकी लड़ाई में सीखने के लिए सराहना की। प्रधानमंत्री ने कहा कि हम सभी ऐसे मुकाम पर हैं, जहां तीसरी लहर की आशंकाएं लगातार व्यक्त की जाती हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि मामलों में कमी के कारण विशेषज्ञ संकारात्मक संकेत दे रहे हैं लेकिन कुछ राज्यों में मामलों की बढ़ती संख्या अभी भी चिंताजनक है। प्रधानमंत्री ने बताया कि पिछले सप्ताह के दौरान 80 प्रतिशत मामले और 84 प्रतिशत दुर्भाग्यपूर्ण मृत्यु बैठक में उपस्थित राज्यों में हुईं। प्रारंभ में विशेषज्ञ मान रहे थे कि जिन राज्यों में दूसरी लहर की शुरूआत हुई वहां पहले हालात सामान्य होंगे। प्रधानमंत्री ने कहा कि केरल और महाराष्ट्र में बढ़ती संख्या गंभीर चिंता का कारण है।

प्रधानमंत्री ने आगाह किया कि दूसरी लहर से पहले जनवरी-फरवरी में भी इसी तरह के रुझान देखने को मिले थे। प्रधानमंत्री ने इसी कारण जोर देकर कहा कि जिन राज्यों में मामले बढ़ रहे हैं, वहां हमें तीसरी लहर की संभावना को रोकने के लिए सक्रिय उपाय करने होंगे।

प्रधानमंत्री ने विशेषज्ञ के इस विचार को रेखांकित किया कि अगर मामले लंबे समय तक बढ़ते रहे तो कोरोना वायरस के म्यूटेशन की संभावना भी बढ़ जाएगी और नए वेरिएंट के खतरे भी बढ़ जाएंगे। प्रधानमंत्री ने कहा कि इसीलिए हमें माइक्रो-कंटेनमेंट जोन पर विशेष ध्यान देते हुए टेस्ट, ट्रैक, इलाज और टीका (टीकाकरण) की रणनीति को जारी रखने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि बड़ी संख्या वाले जिलों पर फोकस किया जाना चाहिए। श्री मोदी ने पूरे राज्यों में जांच का काम बढ़ाने पर जोर दिया। प्रधानमंत्री ने टीके को उच्च संक्रमण वाले क्षेत्रों के लिए एक रणनीतिक उपाय बताते हुए टीकाकरण के प्रभावी उपयोग पर बल दिया। प्रधानमंत्री ने उन राज्यों की सराहना की जो इस समय का उपयोग अपनी आरटी-पीसीआर जांच क्षमता में सुधार के लिए कर रहे हैं।

प्रधानमंत्री ने आईसीयू बिस्तर और जांच क्षमता जैसीचिकित्सा अवसंरचना बढ़ाने के लिए दी जा रही वित्तीय सहायता की भी चर्चा की। प्रधानमंत्री ने हाल ही में स्वीकृत 23,000 करोड़ रुपये के आपातकालीन कोविड प्रतिक्रिया पैकेज का जिक्र करते हुए राज्यों से कहा कि वे चिकित्सा बुनियादी ढांचे को मजबूत करने के लिए धन का उपयोग करें।

प्रधानमंत्री ने राज्यों से, विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों में, ढांचागत कमियों को दूर करने का आह्वान किया। उन्होंने आईटी सिस्टम, कंट्रोल रूम और कॉल सेंटरों को मजबूत बनाने को भी कहा ताकि पारदर्शी तरीके से संसाधनों और डेटा तक नागरिकों की पहुंच हो सके और मरीजों को परेशानी से बचा जा सके।श्री मोदी ने कहा कि बैठक में उपस्थित राज्यों को आवंटित 332 पीएसए संयंत्रों में से 53 संयंत्र चालू हो चुके हैं। उन्होंने मुख्यमंत्रियों से संयंत्रों को तेजी से पूरा करने को कहा। प्रधानमंत्री ने बच्चों को संक्रमित होने से बचाने और इस संबंध में हर संभव व्यवस्था करने की जरूरत का विशेष रूप से जिक्र किया।

प्रधानमंत्री ने यूरोप, अमेरिका और बांग्लादेश, इंडोनेशिया थाईलैंड और कई अन्य देशों में मामलों की संख्या बढ़ने पर चिंता व्यक्त की। प्रधानमंत्री ने कहा कि इससे हमें और विश्व को सचेत होना चाहिए।

प्रधानमंत्री ने दोहराया कि कोरोना खत्म नहीं हुआ है और लॉकडाउन के बाद आ रही तस्वीरों पर गहरी चिंता व्यक्त की। उन्होंने प्रोटोकॉल का पालन करने और भीड़ से बचने की जरूरत पर बल दिया क्योंकि बैठक में शामिल कई राज्यों में घनी आबादी वाले महानगर हैं। उन्होंने राजनीतिक दलों, सामाजिक संगठनों और स्वयंसेवी संगठनों से भी लोगों में जागरूक बनाने का आह्वान किया।

You may have missed

Here can be your custom HTML or Shortcode

This will close in 20 seconds