Rainfall Average : सिर्फ तीन दिनों की झमाझम बारिश ने सुधारा वर्षा का औसत,तीन दिनों में जिले में हुई औसत साढे चौदह इंच बारिश ,कुल आंकडा पंहुचा 49 इंच पर
रतलाम,19 सितम्बर (इ खबरटुडे)। विघ्न विनाशक गणपति के आगमन के साथ आसमान साफ होने से जहां लोगों ने राहत की सांस ली है,वहीं इसके पहले सिर्फ तीनों की झमाझम बारिश ने पूरे जिले की वर्षा के औसत को ठीक कर दिया है। गणेश जी के आगमन से पहले जिले की औसत वर्षा 49 इंच के आंकडे पर पंहुच गई है,जो कि पिछले वर्ष की तुलना में साढे चार इंच अधिक है।
पिछले एक हफ्ते में हुई बारिश के आंकडों पर नजर डाले तो बडे रोचक परिणाम सामने आते है। इसी महीने की 14 सितम्बर तक जिले में मात्र 34 इंच औसत वर्षा दर्ज की गई थी और यह आंकडा पिछले वर्ष इसी अवधि में हुई वर्षा के आंकडे से 9 इंच कम था। जिले के अधिकांश तालाब खाली पडे थे और रतलाम के मुख्य पेयजल स्त्रोत ढोलावाड जलाशय की हालत भी ठीक नहीं थी। ढोलावाड जलाशय क्षमता के लिहाज से खाली पडा था,जिससे कि रतलाम की पेयजल व्यवस्था पर संकट मण्डराते हुए दिखाई दे रहे थे। इसके अगले दिन यानी 15 सितम्बर शुक्रवार को जिले में छिटपुट वर्षा हुई,जिससे आंकडों में कोई खास परिवर्तन नहीं हुआ। 15 सितम्बर को जिले की आलोट तहसील में जरुर 1 इंच बारिश हुई,लेकिन इसके अलावा सभी तहसीलें एक तरह से सूखी ही थी।
लेकिन अगले दिन यानी शनिवार 16 सितम्बर को आसमान पर बादलों ने कब्जा जमाया और पूरे जिले में झमाझम बारिश हुई। 16 सितम्बर को पूरे जिले में औसतन 5.5 इंच बारिश दर्ज की गई। हांलाकि इस दिन सर्वाधिक वर्षा बाजना में दर्ज की गई जहां 24 घण्टों में 10 इंच बारिश हुई,जबकि अन्य तहसीलों में भी अच्छी बारिश दर्ज की गई। रविवार का दिन तो और भी जबर्दस्त साबित हुआ। रविवार 17 सितम्बर को हुई जबर्दस्त बारिश के चलते पूरे जिले में औसतन साढे सात इंच बारिश दर्ज की गई। जिले की तहसीलों को देखें तो बाजना में 11 इंच,रतलाम में 10 इंच,रावटी में 10 इंच,सैलाना में 8 इंच,पिपलौदा में 7.5 इंच,ताल में 7 इंच,और जावरा में 5 इंच बारिश दर्ज की गई। जिले की आलोट एकमात्र ऐसी तहसील थी,जहां इस दिन केवल डेढ इंच वर्षा हुई। गणेश चतुर्थी से ठीक एक दिन पहले बारिश का सिलसिला थोडा थमा और जिले में औसतन 2 इंच बारिश दर्ज की गई।
कुल मिलाकर 16,17 और 18 सितम्बर के इन तीन दिनों में जिले में औसतन 14.5 इंच वर्षा दर्ज हुई। इस बारिश ने जिले की अधिकांश तहसीलों में बारिश का औसत सुधार दिया। आंकडों पर नजर डाले तो जिले में सर्वाधिक वर्षा बाजना में हुई है। बाजना में अब तक कुल 70 इंच बारिश हो चुकी है,जो पिछले वर्ष की तुलना में 30 इंच अधिक है। इसी तरह रावटी में कुल 50 इंच बारिश हुई है,जो गत वर्ष से 8 इंच अधिक है। रतलाम में अब तक कुल 48 इंच बारिश हुई है,जो कि गतवर्ष से 5 इंच अधिक है। इसी तरह सैलाना में कुल बारिश 53 इंच है,जो गत वर्ष से 1 इंच अधिक है। ताल में 42 इंच बारिश हुई,जो कि 3 इंच अधिक है। पिपलौदा में कुल 39.5 इंच बारिश हुई है,जो कि गत वर्ष से आधा इंच अधिक है।
जिले की केवल दो तहसीलें ऐसी है,जहां पिछले वर्ष की तुलना में कम बारिश दर्ज की गई है। जावरा में अब तक कुल 49 इंच बारिश हुई है,लेकिन पिछले वर्ष जावरा में इसी अवधि में 54.5 इंच वर्षा हो चुकी ती। अर्थात यहां 5.5 इंच बारिश कम हुई है। आलोट बारिश के मामले में सबसे पीछे है। आलोट में अब तक केवल 44 इंच बारिश हुई है,जो कि पिछले वर्ष की तुलना में 5.5 इंच कम है।
आंकडों का विश्लेषण यह भी बताता है कि जिले के आदिवासी अंचल में इस बार झमाझम बारिश हुई है। जिले के बाजना,सैलाना और रावटी क्षेत्रों में इस बार पानी की कोई कमी नहीं रही है। इतना ही नहीं तीन दिनों की झमाझम बारिश ने ढोलावाड जलाशय को न सिर्फ लबालब कर दिया है,बल्कि बान्ध के गेट भी काफी समय के लिए खोलना पडे है। इससे अब रतलाम के सामने पेयजल का कोई संकट नहीं बचा है। इतना ही नहीं आदिवासी क्षेत्रों के किसानों को सिंचाई के लिए भी भरपूर जल उपलब्ध होना तय है।