July 6, 2024

वैदेही कोठारी

15 अप्रेल2020

आज दूसरे लॉकडाउन का दूसरा दिन है। आज भी संक्रमितों की संख्या में कोई कमी नही आई है। भारत में 11933। मध्य प्रदेश में 938 हो गए है।
  आज सुबह करीब 9 बजे मोबाईल देखा तो पता चला कि तीन नए पाजिटिव मिले। देखकर बहुत बुरा लगा। आज सुबह सुबह बुरी खबर सुनने को मिली। घर का काम समाप्त किया। मोबाईल देखा तो रत्नेश विजयवर्गीय सर(जन अभियान परिषद डीसी) के स्टेटस पर उनकी बेटी का जन्मदिवस के फोटो देखे। इसलिए उनको फोन लगाया बधाई देने के लिए वैसे भी बहुत दिन हो गए थे,उनके हालचाल पूछे हुए भी। उनको फोन लगा कर सबसे पहले तो बिटिया को बधाई दी फिर उनके हालचाल पूछे। मैने पूछा कोरोना में अभी जन अभियान परिषद में क्या नया कर रहे है? उन्होने बताया अभी नमस्ते भारत जन अभियान शुरू किया है। जिसे कोरोना सिपाहियों के सम्मान में बनाया गया है। साथ ही कोरोना के प्रति जनता को जागरुक करने लिए साधु संतो से विडियों बनवा रहे है। और सोशल मिडिया पर डाल रहे है। उन्होने मुझसे भी कहा की आपके कोई पहचान के साधु हो तो विडियों बनवा कर मंगवा ले। मैने हां में जवाब दिया ठीक है,कहकर बात को समाप्त किया।
 दोपहर तीन बजे तक फिर नई खबर आई की 12 लोग पाजिटिव हो गए है। खबर सुनकर सभी रतलाम वासी चिंतित हो गए। पता नही अब क्या होगा? एक दिन में 10 लोगो का एक साथ पाजिटिव आना,वाकई चिंता का विषय तो था।
  खैर इतनी मुश्किल घड़ी में कोरोना कहर के बीच एक अच्छी खबर भी सुनने को मिली। अच्छी खबर यह थी कि मेरी सहेली रचना खरे को शादी के 13 साल बाद बेटा हुआ,और साथ ही आज उनकी शादी की सालगिरह भी है। दोनो को आज हार्दिक बधाइयां। ये खबर सुनकर मन अत्यंत प्रफुलित हो गया है। 13 सालों से सुनी गोद आज भर गई।
  मेरे मायके से फोन आया कि मेरी छोटी बहन को बुखार हो गया हैं,मौसम बदल रहा है इसलिए बुखार आ गया होगा,फिर भी अस्पताल दिखा दे,वो बोली नही मैं नही जाउगीं कभी क्वारंटाइन कर दिया तो मुझे डर लगता है,नही जाना मुझे,मैने उसे पेरासिटमॉल खाने का बोला।
      जिस तरह कोरोना का कहर फैल रहा है उसी तरह अफवाहें भी फैल रही है। आज शाम भाई का फोन आया बोला दीदी पी एन टी कालोनी में भी कुछ लोग पाजिटिव मिलें हैं क्या? मैने कहा अभी तक तो कोई खबर नही है भाई। उस एरिये में तो कोई नही है,अभी तक।  
   इसी तरह यह भी सुनने में आया कि एक कपल जगह जगह थूक रहे है, नोट 10,50,100 के नोट पर थूक लगाकर कालोनियों में जगह जगह रख रहे है। लोग वह नोट नही उठा रहे है। पुलिस को फोन करके बता रहे है।
  आज बहुत दिनों बाद मेरी कालोनी में रहने वाली मेरी सहेली का फोन आया उससे बात करके अच्छा लगा। मैने पूछा कैसा चल रहा है सब। तो बोली यार ऐसा लग रहा है जैसे देश में अकाल पड रहा हो। मैने पूछा  ऐसा क्यों लगा तुझे ते बोली देखना सब्जी,राशन नही लोगों को खाने के लिए। मैने कहा सरकार तो दे रही है। सुखा खाद्य के पैकेट बना कर और पका हुआ भोजन भी संस्थाए दे रही है। उससे बात कर रही थी बार बार पायल का फोन आ रहा था,इसलिए सहेली को बाय किया और पायल का फोन उठाया। उसकी वही परेशानी रतलाम कैसे आऊं। वो बोली यार कुछ आइडिया लगाओ जिससे में रतलाम आ सकुं। पायल के पति रोज उससे इमोशनली बाते करके उसे दुखी करते। उसका बेटा भी रात को रोज पापा को याद करता है। पायल बोली रोज बेटे को कहानी सुना कर सुला देती हूं। और मन ही मन  सोचती हूं पता नही कब लॉकडाउन खतम होगा। याद तो मुझे भी आती है। पर क्या करू? कब नींद आ जाती है पता ही नही चलता। मुझे भी सुनकर अच्छा तो नही लगता है कि मेरी सहेली उसके पति से दूर है। कम से कम 50 दिन हो गया होगा। मैने उससे कहा देखो अगर सतरुंडा तक आ जाती हो तो, हम लेने आ जाएंगे । सतरूंडा से लेकर हम आ सकते है। क्योंकि वह रतलाम सीमा पर है। दूसरी जगह से नही ला सकते है। पायह तैयार हो गई। वो बोली मैं सुबह 9 बजे निकलती हूं। फिर कॉल करती हूं,मैने कहा ठीक है। शुभ रात्री
   16 अप्रेल2021
आज भी कोरोना कहर पिछले साल से और अधिक फैल रहा है। अस्पतालों में जगह नही,शमशानों में शवों को इंतजार करना पड़ रहा हैं,मृत शरीर से मुक्त होने के लिए। फि र भी जनता समझ नही रहै है।

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