November 22, 2024

Congress Protest : भोपाल में कांग्रेस का विरोध प्रदर्शन ; नाथ के लिए नन्दीयों ने दिखाया दम

भोपाल 15 मार्च ( इ खबर टुडे /चंद्र मोहन भगत)। दो दशक के बाद प्रदेश की राजधानी में सरकार के विरोध में पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के नेतृत्व में कांग्रेसी कार्यकर्ताओं ने जिस जोश जिगर के साथ प्रदर्शन किया है वह प्रशंसा के साथ विशेष चिन्हित किए जाने लायक था। कांग्रेस विरोध में तो लगभग 20 सालों से है। विरोध प्रदर्शन भी अनेको हो चुके हैं। कभी सुरेश पचोरी तो कभी अजयसिंह तो कभी दिग्विजयसिंह के नेतृत्व में, पर कभी चिन्हित नहीं किया गया ना ही जनमत पर इसका असर नजर आया था। नेतृत्व तो कांग्रेस में हमेशा किसी ना किसी का रहा फिर चाहे वह सरकार में हो या विरोध में ,वर्तमान प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ ने तो एक ही सत्र में सत्ता में रहकर फिर विरोधी बन कर नेतृत्व संभाल रखा है ।

जब सत्ता में थे तो प्रदेश की कमान संभालने वाले नए कप्तान थे क्षेत्रीय और स्थानीय राजनीतिक दांवपेच का अनुभव कम था। उन साथियों के भरोसे भी थे जिनकी हमेशा सत्ता के लिए लार टपकती रही थी, आज भी टपक रही है। इसी दौरान के अनुभव कमलनाथ के तमगे बन चुके हैं। इन्हीं तमगों के दर्जों ने यह साबित करने में कोई कसर नहीं छोड़ी कि नाथ के नन्दियो की सेना का जोश हाई पावर की तरह है। परसों राजधानी में किया गया विरोध प्रदर्शन तो यही जाहिर कर रहा है।

कांग्रेस हमेशा सत्ता में रही और जब से विरोध में है विरोधियों की तरह विरोध प्रदर्शन की महारत हासिल नहीं कर पा रही थी। बीते विधानसभा चुनाव के बाद भी सरकार कांग्रेस की और मुख्यमंत्री कमलनाथ ही थे जो अपने विधायकों को समेटे रख जनप्रिय सरकार चला रहे थे। विपक्ष संख्या में खासा होने के बाद भी कमजोर साबित हो रहा था । नाथ के नंदी तो ठीक थे पर अनुभव की कमी के कारण जानकर आमात्यों की बजाय चाटुकार सलाहकार हावी होते गए और नाथ के दोस्तों ने ही नाथ सरकार की बाल्य काल में ही बलि चढ़ा दी थी । चोट ऐसी थी की नजर भी नहीं आ रही थी पर घाव गहराती जा रही थी।

इसी दौर में अनुभव उपजा और परिपक्वता के साथ कांग्रेस के जिन नन्दियों को पिछले तीन सालों में तैयार किया वहीं अब कमलनाथ टीम के नाम से जाने जाने लगे हैं ।भाजपा सरकार इस राहत में चल रही थी कि कांग्रेस का विरोध प्रदर्शन निष्प्रभावी रहेगा और बची जनसाख भी घटकर कम हो जाएगी पर नाथ के नंदीयों ने कमाल का प्रदर्शन किया । हिम्मत और टकराव का जो जज्बा नजर आया उससे यह साफ हो गया कि अब कमलनाथ ने विरोध में रहते कांग्रेसियों को इतना तो तैयार कर ही दिया है कि अपनी जनता की आवाज को जब भी उठाएंगे बहुत ही दमदार तरीकों से उठाएंगे। मैदान आसानी से नहीं छोड़ेंगे सरकार की सारी प्रताड़ना पानी की बौछार लाठियां और आंसूगैस तक को सहा जाएगा। पर जब भी आंदोलन किया जाएगा जोश हाई पावर ही नजर आएगा।

कमलनाथ के नन्दियों का जोश हाई पावर रखने में खुद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ही ईंधन पहुंचा रहे हैं वे बेघरों को पट्टे देने का ,पेंशन योजना, किसानों के लिए राहत , बेरोजगारों को नौकरी जैसी फेक घोषणा करके। शिवराज सरकार की विफलताओं की आड़ में ही कमलनाथ के विरोध स्वर तेज होकर जनमत को प्रभावित भी करने लगे हैं । साथ में कमलनाथ ने जो प्रदेश संगठन का कायाकल्प किया है उससे भी कमलनाथ टीम मजबूत होती नजर आ रही है। सरकार के विरोध का स्वर ऐसा ही लगातार हाई पावर बना रहा तो विधानसभा चुनाव तक राजनीतिक परिदृश्य में बदलाव भी स्पष्ट नजर आने लगेगा ।

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