December 25, 2024

टेरर फंडिंग केस: राष्ट्रदोह के आरोपी अलगाववादी नेताओं को नहीं मिल रहे वकील

algavavadi

नई दिल्ली ,04 अगस्त(इ खबरटुडे)। कश्मीर के अलगाववादी नेताओं पर अब राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) का शिंकजा और कस गया है। पिछले करीब दो माह से कश्मीर के अलगाववादी नेताओं पर एनआईए की जो कार्रवाई हो रही है, उसका नतीजा है कि इन नेताओं को दिल्ली में अपनी पैरवी के लिए वकील ही नहीं मिल पा रहा है।
दिल्ली के एक प्रोफेसर से किया संपर्क
सूत्रों के मुताबिक हुर्रियत के कुछ नेता जिनमें शब्बीर शाह और सैयद अली शाह गिलानी अहम हैं, लगातार ऐसे वकीलों के संपर्क में हैं, जो कश्मीर के अलगाववादी नेताओं के लिए काफी सहानुभूति रखते हैं। सिर्फ इतना ही नहीं इन नेताओं ने दिल्ली यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर एसआर गिलानी के साथ भी कांटैक्ट किया है। हुर्रियत नेताओं ने गिलानी को जिम्मेदारी दी है कि वह उनके लिए वकील तलाशें जो एनआईए की स्पेशल कोर्ट में उनकी पेशी के दौरान उनके पक्ष को मजबूती से रख सकें। आपको बता दें कि गिलानी साल 2001 में संसद पर हुए हमले में आरोपी थे। गिलानी को साल 2010 में बरी किया गया था। फिलहाल वह एक एनजीओ के मुखिया हैं।

कश्मीर के अलगाववादी नेताओं पर अब राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) का शिंकजा और कस गया है। पिछले करीब दो माह से कश्मीर के अलगाववादी नेताओं पर एनआईए की जो कार्रवाई हो रही है, उसका नतीजा है कि इन नेताओं को दिल्ली में अपनी पैरवी के लिए वकील ही नहीं मिल पा रहा है। आपको बता दें कि अलगाववादी नेताओं को आज कोर्ट में पेश किया जाना है।

मुंबई के एक वकील से भी मांगी मदद
गिलानी का एनजीओ जेल में बंद राजनीतिक कैदियों को रिहा करने का काम करता है।  विशेषज्ञ और कई अधिकारियों की मानें तो अलगाववादी नेता अब यह मान चुके हैं उनके खिलाफ केस काफी मजबूत है और उनकी मुश्किलें बढ़ सकती हैं। इन नेताओं ने मुंबई के भी एक प्रतिष्ठित वकील से संपर्क किया है। यह वकील कौन हैं फिलहाल यह बात सामने नहीं आई हैं लेकिन कहा जा रहा है कि वह पिछले कई वर्षों से कश्मीर के मुद्दे पर लिखते आए हैं।

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