January 23, 2025

उच्चतम न्यायालय के निर्देशों के बावजूद खुद पुलिस अधिकारी ने ही पहचान उजागर की बलात्कार पीडीता बालिका की

justis logo

रतलाम,28 अक्टूबर (इ खबरटुडे)। बलात्कार के मामलों में सर्वोच्च न्यायालय ने स्पष्ट दिशा निर्देश दिए है कि बलात्कार पीडीता की पहचान किसी भी सूरत में उजागर नहीं की जाना चाहिए। लेकिन श्रेय लेने के चक्कर में स्वयं पुलिस अधिकारी ने ही बलात्कार और हत्या की चार वर्षीय मासूम बालिका का नाम ही उजागर कर दिया।
इन्दौर में शनिवार को एक दरिन्दे द्वारा चार वर्षीय मासूम बालिका के साथ बलात्कार कर उसकी हत्या कर दी गई। इस दरिन्दे को रविवार को जिले के जावरा से पुलिस द्वारा गिरफ्तार कर लिया गया। चूंकि मामला बेहद संवेदनशील और सनसनीखेज था,इसलिए जावरा के सीएसपी आशुतोष बागरी आरोपी के पकडा जाने पर इतने उत्साहित हो गए कि उन्होने खुद ही सोशल मीडीया पर पीडीत और मृत बालिका का नाम उजागर कर दिया। श्री बागरी ने एक व्हाट्सएप ग्रुप पर आरोपी के पकडे जाने की खबर शेयर की और इसी खबर में मृत बालिका का नाम भी उजागर कर दिया।
इस मामले में पूछे जाने पर जावरा सीएसपी आशुतोष बागरी ने स्वीकार किया कि उनसे गलती हो गई है और वे इस पोस्ट को डिलीट कर रहे हैं। रतलाम रैंज के पुलिस उपमहानिरीक्षक जीतेन्द्र सिंह कुशवाह ने इ खबर टुडे से कहा कि माननीय सर्वोच्च न्यायालय के दिशा निर्देशों का अक्षरश: पालन करना सभी के लिए आवश्यक है। यदि जावरा सीएसपी ने मृत बालिका का नाम उजागर किया है,तो उनसे इस बारे में पूछताछ की जाएगी।

You may have missed