September 22, 2024

इस्लामाबाद में कुलभूषण जाधव से मिलीं मां-पत्नी, बीच में थी कांच की दीवार, इंडियन डिप्लोमैट को रखा दूर

इस्लामाबाद/नई दिल्ली, 25 दिसंबर(इ खबर टुडे)। पाकिस्तान की जेल में बंद भारतीय नागरिक कुलभूषण जाधव की सोमवार को मां और पत्नी से मुलाकात हुई। मीटिंग 47 मिनट चली। पाकिस्तान की फॉरेन मिनिस्ट्री में मुलाकात के वक्त सब कुछ ठीक नहीं था। जाधव और उनकी पत्नी-मां के बीच एक ग्लास पार्टिशन (कांच की दीवार) थी। जाधव के सामने एक फोन था। इसका स्पीकर ऑन करके बातचीत कराई गई। कुछ दूरी पर इंडियन डिप्लोमैट जेपी. सिंह थे।

खास बात ये है कि जेपी. सिंह के सामने भी एक ग्लास पार्टिशन था। यानी वो उस बातचीत को नहीं सुन सकते थे जो, जाधव और उनकी पत्नी-मां के बीच हो रही थी। बता दें कि जाधव इंडियन नेवी के एक रिटायर्ड अफसर हैं। पाक का दावा है कि जाधव को बलूचिस्तान से अरेस्ट किया गया था। पाक मिलिट्री कोर्ट ने उन्हें अशांति फैलाने और जासूसी करने के आरोप में फांसी की सजा सुनाई है। हालांकि, आईसीजे ने फांसी पर रोक लगा रखी है।

कैसे हुई बातचीत
जाधव जो बोल रहे थे, वो एक स्पीकर फोन के जरिए जो रिकॉर्ड किया जा रहा था। स्पीकर फोन की आवाज कांच की दूसरी तरफ जाधव की मां और पत्नी तक पहुंचती। इसी तरह बातचीत हुई। जाधव की मां नाम अवंतिका और पत्नी चेतना है। इस दौरान पाकिस्तान की एक महिला डिप्लोमैट फराह बगती भी मौजूद थीं।

3 टीवी कैमरे लगाए
इस मुलाकात को पाकिस्तान ने तीन टीवी कैमरों से रिकॉर्ड किया। दो सीसीटीवी कैमरे भी वहां लगे थे।

PAK ने दी मीडिया को इजाजत, भारत का इनकार
पाकिस्तान के अखबार ‘द ट्रिब्यून’ के मुताबिक- पाकिस्तान की फॉरेन मिनिस्ट्री ने जाधव की पत्नी और मां को इंटरनेशनल और नेशनल मीडिया से बातचीत की इजाजत दी थी। लेकिन, भारत ने इस पर रोक लगा दी है। पाकिस्तान के अफसरों ने कहा- हम चाहते थे कि दोनों महिलाएं मीडिया से बातचीत करें लेकिन भारत ऐसा नहीं चाहता। एक अफसर ने कहा- हम कुछ भी नहीं छुपाना चाहते। लेकिन, फैसला तो भारत को करना है।
लेकिन, क्या ये कॉन्स्यूलर एक्सेस है?
नहीं। ‌ख्वाजा आसिफ गलत बयानी कर रहे हैं। ये सही है कि जाधव की मां-पत्नी को मुलाकात की इजाजत दी गई है। ये भी सही है कि इस दौरान इस्लामाबाद में भारत के डिप्टी हाई कमिश्नर जेपी. सिंह उस कमरे में मौजूद रहेंगे। लेकिन, सूत्र बताते हैं कि वो जाधव से बातचीत नहीं कर सकेंगे।

फिर कॉन्स्यूलर एक्सेस कैसे हो सकता है?
कॉन्स्यूलर एक्सेस का मतलब ये है कि पाकिस्तान इंडियन डिप्लोमैट्स को जाधव से बातचीत की इजाजत दे। इस दौरान कोई दखलंदाजी ना हो। मुलाकात की शर्तें पहले से तय हों और जाधव को इंडियन हाई कमीशन डायरेक्ट लीगल असिस्टेंस (सीधी कानूनी मदद) मुहैया कराए। इस मामले में कतई ऐसा नहीं हो रहा है।

मिनिस्टर की बात को मिनिस्ट्री ने खारिज कर दिया
ख्वाजा आसिफ ने मुलाकात को कॉन्स्यूलर एक्सेस कहा। कुछ घंटे बाद वहां की फॉरेन मिनिस्ट्री ने मीडिया से कहा- ये कॉन्स्यूलर एक्सेस नहीं है।

जाधव को जल्द फांसी नहीं दी जाएगी
इस तरह की अफवाहें फैल रहीं थीं कि 25 दिसंबर को पत्नी और मुलाकात के बाद

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