April 20, 2024

उज्जैन जिले के बडनगर में नीलगाय का आतंक;फसलें रौंदी,दुर्घटनाएं अंजाम दी,हिंसक हुई नीलगाय ,आक्रोशित कृषक आंदोलित( देखिए लाइव विडियो )

उज्जैन,23दिसंबर(इ खबर टुडे/ ब्रजेश परमार )। जिले की बड़नगर तहसील में नीलगाय के आतंक से कृषक आक्रोशित होकर आंदोलन की स्थिति में सामने आ गए हैं। किसानों ने तहसील मुख्यालय पर रैली निकालकर ज्ञापन दिया है।क्षेत्र में नीलगाय ने कई कृषकों की फसलें रोंद दी है या खाकर बर्बाद कर दी है।आकस्मिक रूप से रोड़ पर आने से वाहन चालक दुर्घटना गृस्त हो रहे हैं।नीलगाय हिंसक होकर खेत में काम करने वाली महिलाओं पर हमला करने लगी है।

वैसे तो नीलगाय जिले के सभी तहसीलों में नजर आ रही है।बडनगर तहसील में इनके आतंक की स्थिति के सामने कृषक परेशान हैं।बडनगर तहसील के अधिकांश गांव इनसे प्रभावित बताए जा रहे हैं। 10-15 के झूंड के रूप में आकर नीलगाय खेतों में फसलें खाने के साथ ही सिंचाई से नमी लिए खेतों में लोट लगाकर पौधों को पनपने से पहले ही रौंद रही है।खेतों में इन्हे भगाने के लिए कृषकों के जाने पर ये पलटकर हमला कर रहे हैं।तहसील के ग्रामीण क्षेत्रों में एक दर्जन से अधिक दो पहिया वाहन चालकों एवं सवारी को इन्होंने घायल किया है। रहवासी क्षेत्र को छोडकर नीलगाय खेतों के आसपास एवं पहाडी जैसे क्षेत्र के आसपास बहतायत में है। पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष महेश पटेल के अनुसार रबि एवं खरीफ दोनों फसलों के समय कृषकों के उत्पादन का 20-25 प्रतिशत नुकसान नीलगाय (घोडारोज) कर रहे हैं। इनके साथ ही जंगली सुअर भी फसलों को नुकसान पहुंचा रहे हैं।पटेल ने दावा किया कि बडनगर तहसील के 175 में से 150 गांव इनसे प्रभावित हैं।तीन दर्जन से अधिक मामलों में भगाने पर नीलगाय ने कृषकों एवं खेतों में काम करने वाली महिलाओं पर पलटकर हमला कर उन्हे घायल कर दिया ।इनसे हुई एक दर्जन से अधिक दुर्घटनाओं में 1कृषक की मौत हो गई एवं कई लोग घायल हुए हैं। नीलगाय की संख्या तहसील में हजारों की तादाद में है।

कृषकों ने वाहन रैली निकालकर ज्ञापन दिया –

गुरूवार को तहसील मुख्यालय पर कृषक बड़ी संख्या में एकत्रित हुए ।तहसील के अलग –अलग गांव से आए किसानों ने बडनगर में वाहन रैली निकाली।इसके उपरांत एसडीएम आकाशसिंह को नीलगाय से उत्पन्न समस्या से अवगत करवाते हुए आक्रोशित स्थिति में मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा। एसडीएम आकाशसिंह बताते हैं कि उनके सामने पिछले 3 माह में पहली बार यह मामला आया है। वन विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक कर प्रावधान अनुसार इस पर जल्द ही कुछ करेंगे। आंदोलित किसानों ने नीलगाय से क्षेत्र के किसानों की फसल नुकसान ,हादसों से संबंधित ज्ञापन दिया गया है। प्रति माह कृषक कल्याण योजना के तहत प्रकरण बनाकर जिला कार्यालय को भेजे जा रहे हैं। इधर आंदोलित किसानों के नेतृत्व कर रहे पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष महेश पटेल ने कहा कि किसान फसल नुकसानी का आवेदन राजस्व विभाग में करते हैं तो उन्हे मुआवजा नहीं मिल रहा है।नीलगाय की समस्या परजल्द ही इस पर सुनवाई नहीं हुई तो जिला स्तर पर आंदोलन किया जाएगा। इसके बाद किसान राजधानी में भी आंदोलन करेंगे।अधिकारी किसानों की समस्या को फोरी तौर पर ले रहे हैं। सरकार इस समस्या के निदान के लिए जल्द ही निर्णय ले तो बेहतर होगा।

इनका कहना है
पिछले कुछ माह में नीलगाय से फसलें नष्ट होने ,दुर्घटना होने ,हमले की शिकायतें जिले भर से बढ़ी हैं।शिकायती आवेदनों के साथ ज्ञापन भी हमें मिले हैं।वर्तमान में नीलगाय पर नियंत्रण को लेकर कोई योजना नहीं हैं।फसल हानि को लेकर राजस्व विभाग को ही कृषक को आवेदन करना है।शासन स्तर पर इसके निदान के लिए योजना पर विचार चल रहा है।

-डा.किरण बिसेन,वन मंडलाधिकारी,उज्जैन

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