Magisterial Probe : गणेश चतुर्थी पर हुई पुलिस क्रूरता की मजिस्ट्रियल जांच का पहला दिन- साक्ष्य देने नहीं पंहुचा कोई व्यक्ति
रतलाम,20 सितम्बर (इ खबरटुडे)। गणेश चतुर्थी की रात गणेश प्रतिमा के जुलूस पर हुए पथराव,गणपति भक्तों पर हुए पुलिस लाठीचार्ज और लाठीचार्ज से एक आदिवासी युवक की मौत के मामले में मजिस्ट्रियल जांच शुक्रवार से प्रारंभ हो गई,लेकिन जांच के पहले दिन कोई भी व्यक्ति इस घटना के सम्बन्ध में साक्ष्य देने नहीं पंहुचा।
उल्लेखनीय है कि गणेश चतुर्थी पर हुई घटनाओं के बाद अगले दिन आक्रोशित हिन्दू समाज द्वारा जबर्दस्त विरोध प्रदर्शन किया गया था। इस विरोध प्रदर्शन में सौंपे गए ज्ञापन में सारी घटनाओं की जांच कराने और दोषी व्यक्तियों के विरुद्ध कार्यवाही करने की मांग की गई थी। इस प्रदर्शन के बाद कलेक्टर राजेश बाथम ने घटना की मजिस्ट्रियल जांच के आदेश जारी करते हुए एडीएम आरएस मण्डलोई को जांच करने के निर्देश दिए थे। जांच अधिकारी एडीएम आरएस मण्डलोई द्वारा जांच प्रक्रिया प्रारंभ की गई है।
अधिकारिक सूत्रों के मुताबिक एडीएम श्री मण्डलोई ने 20 सितम्बर से घटना के सम्बन्ध में जानकारी रखने वाले जनसामान्य से घटना के सम्बन्ध में साक्ष्य अंकित कराने की सार्वजनिक सूचना जारी की थी। एडीएम श्री मण्डलोई द्वारा प्रारंभ की गई मजिस्ट्रियल जांच के पहले दिन एडीएम कार्यालय में कोई भी व्यक्ति साक्ष्य प्रस्तुत करने नहीं पंहुचा। शासकीय अवकाश के दिनों को छोडकर अन्य दिनों में एडीएम कार्यालय द्वारा घटना के सम्बन्ध में साक्ष्य एकत्रित किए जाएंगे।
अधिकारिक सूत्रों के मुताबिक मजिस्ट्रियल जांच के पहले चरण में जांच के बिन्दुओं के सम्बन्ध में मौखिक साक्ष्य एकत्रित करने के साथ ही साक्षियों से विडीयो इत्यादि भी अंकित किए जाएंगे। इसके बाद में उन व्यक्तियों का पक्ष भी लिया जाएगा,जिन पर क्रूरता के आरोप लगाए गए है।