रामलला के प्राण प्रतिष्ठा समारोह को लेकर कांग्रेस में दो फाड़; दो पूर्व मुख्यमंत्रियों के बेटों ने किया अयोध्या जाने का ऐलान
नई दिल्ली,14 जनवरी (इ खबर टुडे)। अयोध्या में 22 जनवरी को होने जा रहे राम मंदिर उद्घाटन और रामलला की प्राण प्रतिष्ठा समारोह में जहां पूरे देश में जोर-शोर से तैयारी चल रही हैं, वहीं देश की राजनीति भी दो धड़ों में बँट गई है। कांग्रेस में भी दो फाड़ दिखाई देने लगी है। कुछ कांग्रेसी अयोध्या जाने से मना कर रहे हैं तो कुछ गाजे-बाजे के साथ अध्योध्या कूच की तैयारी कर रहे हैं। हालांकि दोनों दिग्गज कांग्रेसियों के बेटों के राम प्रेम को देखकर राजनीतिक हलकों में चर्चा है कि ये भविष्य में भगवा चोला धारण कर सकते हैं।
अयोध्या राम मंदिर पर हो रही राजनीति के खेल में कांग्रेस के दो दिग्गज नेताओं के परिवार में फूट देखने को मिल रही है। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे कमलनाथ के बेटे नकुलनाथ और हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे वीरभद्र सिंह के बेटे विक्रमादित्य सिंह ने पार्टी के फैसले को दरकिनारा कर राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा समारोह में शामिल होने का ऐलान किया है।
विक्रमादित्य सिंह हिमाचल प्रदेश में कैबिनेट मंत्री हैं. उन्होंने कहा है कि वे 22 जनवरी को अयोध्या जाएंगे। प्राण प्रतिष्ठा समारोह में शामिल होने के लिए न्योता देने पर उन्होंने आरएसएस और विश्व हिंदू परिषद को धन्यवाद भी दिया है। विक्रमादित्य सिंह का कहना है कि मंदिर में जाना कोई राजनीतिक मुद्दा नहीं है। ये उनका निजी मामला है। उन्होंने कहा कि भगवान राम में उनकी आस्था है। इसलिए वे इस ऐतिहासिक अवसर पर अयोध्या अवश्य जाएंगे। उन्होंने कहा कि राम मंदिर जाना उनकी व्यक्तिगत आस्था का विषय है. पार्टी से इसका कोई सरोकार नहीं है।
बता दें कि विक्रमादित्य सिंह की मां प्रतिभा सिंह हिमाचल प्रदेश कांग्रेस की अध्यक्ष भी हैं. वे कांग्रेस की सांसद भी हैं। विक्रमादित्य सिंह के पिता वीरभद्र सिंह हिमाचल के छह बार मुख्यमंत्री रह चुके हैं। तीन साल पहले उनका निधन हुआ था। विक्रमादित्य की दलील है कि उनके पिता का राम जन्मभूमि से बहुत लगाव था। ध्यान रखने वाली बात है कि समान नागरिकता के मसले पर भी विक्रमादित्य के बयान को लेकर भी काफी चर्चा हुई थी।
कमलनाथ और नकुलनाथ लिख रहे हैं राम-राम
मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के बेटे नकुलनाथ ने भी अयोध्या में राम मंदिर के दर्शन करने के लिए जाने की बात कही है। छिंदवाड़ा से सांसद नकुलनाथ तो बकायदा अपने क्षेत्र से राम मंदिर उद्घाटन समारोह के लिए कई कार्यक्रम करवा रहे हैं। अयोध्या जाने के सवाल पर उन्होंने कहा कि वे अध्योध्या अवश्य जाएंगे, लेकिन 22 जनवरी के बाद। नकुलनाथ अपने क्षेत्र में हुए श्रीराम महोत्सव में भी शामिल हुए हैं।
बता दें कि नकुलनाथ के पिता और मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने प्रदेश में भगवान श्रीराम और हनुमान को लेकर कई कार्यक्रम आयोजित किए थे। चर्चा थी कि कमलनाथ राम मंदिर मुद्दे पर बीजेपी को टक्कर दे रहे थे। इसके अलावा मध्य प्रदेश के छिंदवाडा में 21 दिन के श्रीराम महोत्सव का आयोजन किया गया। इस महोत्सव में पूरे जिले में राम नाम पत्रक बांटे गए। लोगों ने राम नाम पत्रक में 108 बार राम नाम लिखकर इन्हें जमा किया है। इस प्रकार छिंदवाड़ा में चार करोड़ से अधिक बार राम नाम लिखा जाएगा। इन पत्रकों को अयोध्या भेजा जाएगा। सांसद नकुलनाथ ने भी राम पत्रक पर 108 बार राम नाम लिखा है। 20 जनवरी को इन पत्रकों को बसों के माध्यम से अयोध्या पहुंचाया जाएगा। नकुलनाथ ने कहा कि वे अयोध्या अवश्य जाएंगे। लेकिन 22 जनवरी को नहीं बल्कि कभी किसी और दिन प्रभु श्रीराम के दर्शन करने जाएंगे।
उधर, नकुलनाथ के पिता कमलनाथ ने भी राम मंदिर जाने के सवाल पर कहा कि बीजेपी राम मंदिर को लेकर राजनीति कर रही है। उन्होंने कहा कि भगवान राम बीजेपी के नहीं बल्कि सभी के भगवान हैं। उन्होंने कहा कि वे अयोध्या अवश्य जाएंगे लेकिन 22 जनवरी को नहीं, कभी और।