Rose Day Stamps : पूरे विश्व में आकर्षण का केन्द्र है भारत के गुलाब
डाक टिकट बताते हे इनकी महिमा
रतलाम,07 फरवरी (इ खबरटुडे)। 7 फरवरी का दिन रोज डे यानी गुलाब डिवस के रुप में मनाया जाता है। गुलाब दिवस के मौके पर यह जानना बेहद जरुरी है कि गुलाब का विश्व से परिचय सबसे पहले भारत ने ही करवाया था। डाक टिकट संग्राहक फिलेटैलिस्ट शैलेन्द्र कुमार निगम के संग्रह में मौजूद देश विदेश के गुलाब पर निकाले गए डाक टिकटों से गुलाब के फूलों की रोचक कहानी समाई हुई है।
देश विदेश के लाखों डाक टिकटों का संग्रह कर चुके श्री निगम के अद्भुत संग्रह में मौजूद गुलाब के डाक टिकटों से पता चलता है कि गुलाब का अस्तित्व लगभग तीस लाख वर्ष पुराना है। उनके डाक टिकट संग्रह में मौजूद तथ्यों के मुताबिक प्राचीन यूनान को गुलाब का परिचय भारत ने ही करवाया था। सिकन्दर ने भारत में अपने युद्ध अभियान के दौरान गुलाब के कुछ पौधे अ्पने गुरु अरस्तू को यूनान भिजवाए थे। इसी तरह गुलाब के इत्र की खोज भी सर्वप्रथम भारत में ही की गई थी।
मनमोहक सुगन्ध और सुन्दरता समेटे हुए गुलाब की भारत में लगभग तीन सौ किस्में विकसित की गई है। भारत में विकसित की गई गुलाब की मृणालिनी और सुगन्धा किस्मों को पूरे विश्व में सराहा जाता है। इन दोनो प्रजातियों के गुलाब पर 1984 में डाक टिकट जारी किए गए थे। इसी तरह भारतीय कृषि अनुसन्धान संस्थान द्वारा विकसित भीम,जवाहर,दिल्ली प्रिन्सेस और नीलम किस्मों पर वर्ष 2007 में डाक टिकट जारी किए गए थे। गुलाब के कद्रदान पूरी दुनिया में मौजूद है। यही कारण है कि दुनिया के अनेक देशों ने गुलाब पर आधारित डाक टिकट जारी किए है। श्री निगम के संग्रह में भूटान,मारिशस,कनाडा,पोलास्का,लिबिया,न्यूजीलैण्ड,जिम्बाब्वे,इटली रोमानिया जैसे देशों द्वारा जारी गुलाब के डाक टिकट भी मौजूद है।