November 15, 2024

करगिल के हीरो ने अब जीती साइबर जंग, चीनी-पाकिस्तानी हैकरों को किया चित

नई दिल्ली,22जनवरी (इ खबरटुडे)। करग‍िल के हीरो रह चुके सेना के एक अधिकारी अब वर्चुअल दुनिया में भी जंग जीत रहे हैं. हाल में उन्होंने कुछ हैकरों (जो संभवत: चीनी और पाकिस्तानी थे) द्वारा सेना के आईटी सिस्टम में सेंध लगाने की कोशिश को विफल कर दिया है. अगर हैकर इस सिस्टम में सेंध लगाने में कामयाब हो जाते तो सेना की काफी महत्वपूर्ण सूचनाएं दुश्मनों के हाथ लग सकती थीं.

अधिकारी को पता चला कि कुछ साइबर हमलावर उनका पासवर्ड हैक करने की कोशि‍श कर रहे हैं. सेना के सूत्रों ने मेल टुडे को बताया कि यदि हैकर्स इस पासवर्ड को हासिल कर लेते तो उनके हाथ सेना के बारे में कई गोपनीय जानकारी लग सकती थी. शक है कि यह साइबर हमला चीन और पाकिस्तान के हैकर्स की तरफ से हुआ था, जो पिछले कुछ वर्षों से काफी सक्रिय हैं और भारतीय सेना के अधिकारियों और नेटवर्क को निशाना बना रहे हैं.

इस अधिकारी (सूत्रों ने सुरक्षा कारणों से इनका नाम नहीं जाहिर किया है) ने करगिल युद्ध में हिस्सा लिया था और भारतीय चौकी पर कब्जा करने वाले पाकिस्तानी घुसपैठियों के खिलाफ बहादुरी दिखाने के लिए उन्हें गैलेंट्री अवॉर्ड से भी नवाजा जा चुका है. यही नहीं, यह अधिकारी चीन सीमा पर भी काफी समय तक तैनात रहे हैं. जानकारों का कहना है कि मौजूदा दुनिया में इलेक्ट्र‍िकल ग्रिड को ठप करने, घरेलू एयरलाइंस नेटवर्क को बाधित करने, इंटरनेट कनेक्ट‍िविटी को रोकने, बैंक खातों से रकम गायब करने और रडार सिस्टम को बाधित करने जैसे कई तरह के बड़े साइबर हमले बढ़ रहे हैं.

हाल के वर्षों में चीनी और पाकिस्तानी अधिकारियों की शह पर हैकर्स ने कई बार भारतीय प्रतिरक्षा बलों के नेटवर्क में सेंध लगाने की कोशिश की है ताकि सेना के बारे में गोपनीय जानकारी हासिल हो सके. यह साइबर हमला ऐसे वक्त में हुआ है जब पाकिस्तान और चीन सीमा पर तनाव बढ़ा हुआ है. पाकिस्तान तो कई जगह पर लगातार सीजफायर का उल्लंघन कर रहा है, जबकि डोकलाम के बाद चीन की बयानबाजी जारी है.

इसके पहले पिछले साल अप्रैल महीने में आर्मी साइबर ग्रुप ने अपने अधिकारियों के कंप्यूटर नेटवर्क में एक बड़े साइबर हमले की कोशिश को विफल कर दिया था, जिसमें ‘सेक्स वीडियो’ के लिंक द्वारा ई-मेल नेटवर्क तक पहुंचने की कोशिश की गई थी. साइबर हमलों से निपटने के लिए रक्षा मंत्रालय एक नई साइबर एजेंसी स्थापित करने की कोशिश कर रही है.

You may have missed

This will close in 0 seconds