सूरत जेल में महाशिवरात्रि मनाने पर पाबन्दी, कैदियों द्वारा भूख हड़ताल
सूरत,13 फरवरी (इ खबरटुडे)। दुनियाभर में हिन्दू महाशिवरात्रि का पर्व मना रहे हैं, वहीँ सूरत की लाजपोर मध्यस्त जेल में बंदियों को शांतिपूर्ण तरीके से महाशिवरात्रि का पर्व मनाने की अनुमति नहीं दी गयी . जेल प्रशासन की हठधर्मिता के विरोध में सूरत जेल में 125 हिन्दू कैदियों ने 12 फरवरी से भूख हड़ताल और सत्याग्रह शुरू कर दिया. कैदियों ने ऐसे घोर अत्याचार के होते अन्न जल त्याग दिया है.
ख़बरों के मुताबिक सूरत के लाजपोर जेल में संत नारायण साईं को भी पिछले ४ वर्षों से भी ज्यादा समय से अंडर ट्रायल के तौर पर रखा गया है. इस महाशिवरात्रि के पर्व से चार दिवस पहले कैदियों के आग्रह पर नारायण साईं ने जेल अधीक्षक ए.आर. चौधरी को एक पत्र लिख्रकर यह अनुमति मांगी गयी कि सभी कैदी महाशिवरात्रि पर्व 13 फरवरी 2018 को जेल में सामूहिक भजन कीर्तन और पूजन करना चाहते हैं, इसकी अनुमति दी जाये. परन्तु श्री चौधरी ने अनुमति नहीं दी और कैदियों से यह पर्व सबके साथ मिलकर मानने के लिए मना किया गया.
इसी से नाराज होकर सूरत जेल में 125 हिन्दू कैदियों ने 12 फरवरी से भूख हड़ताल और सत्याग्रह शुरू कर दिया. कैदियों ने ऐसे घोर अत्याचार के होते अन्न जल त्याग दिया है. सूत्रों के हवाले से खबर मिली है कि कैदियों ने जेल प्रशासन की धर्म विरोधी मानसिकता के विरोध में यह भूख हड़ताल की है. बंदियों ने इसे जेल प्रबंधन द्वारा धार्मिक स्वतंत्रता के अधिकार का हनन बताया है. इस मामले को जल्द ही न्यायालय में चुनोती देने के साथ ही घटनाक्रम की जानकारी से प्रधानमन्त्री नरेंद्र मोदी को भी अवगत करवाया जा रहा है.
बताया जाता है कि महाशिवरात्रि ही नहीं इस जेल में पिछले कुछ वर्षों से हिन्दुओं का कोई भी पर्व, उत्सव मनाने की कैदियों को अनुमति नहीं दी गयी. जिससे बंदियों में भारी आक्रोश है.