राजीव गांधी पर की गई विवादित टिप्पणी के खिलाफ जिले में कांग्रेस ने कड़ा विरोध जताया
रतलाम,09 जून (इ खबरटुडे)।जिले के रावटी तहसील में पदस्थ तहसीलदार अमितासिंह तोमर द्वारा पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी पर की गई विवादित टिप्पणी के खिलाफ गुरुवार को जिले में कांग्रेस ने कड़ा विरोध जताया। जिला कंाग्रेस कमेटी ने रतलाम में राज्यपाल के नाम ज्ञापन सौंपकर तहसीलदार पर कड़ी कार्रवाई करने की मांग की है।
जिला कांग्रेस कमेटी ने गुरुवार को जिलाध्यक्ष प्रभु राठौर के नेतृत्व में प्रतिनिधि मंडल ने विरोध जताया। कांग्रेसियों ने राज्यपाल रामनरेश यादव के नाम, ज्ञापन प्रभारी कलेक्टर सीईओ हरजिंदरसिंह को सौंपा। ज्ञापन में मांग की है कि रतलाम जिले के रावटी तहसीलदार अमितासिंह तोमर द्वारा सोश्यल मिडिया फेसबुक के माध्यम से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तारीफ करते हुए अपनी फेसबुक के वॉल पर अशोभनीय टिप्पणी की है। तोमर ने लिखा है कि ”राजीव गांधी आत्महत्या योजना शुरू करें ताकि सेकुलर और कांग्रेसी विचारधारा वाले ऐसी खबर सुनकर आत्महत्या कर सके ।
आचरण के विरुद्ध टिप्पणी
ज्ञापन में कहा गया है कि टिप्पणी अशोभनीय, निंदनीय है। अमितासिंह तोमर द्वारा म.प्र. सिविल सेवा आचरण के नियमों एवं प्रावधानों के भी खिलाफ है। पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी जिन्हें पुरी दुनिया स्वप्नदृष्टा के नाम से जानते है। दूरसंचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी के क्षैत्रो में भारत की सफलता में बहुत बड़ा योगदान राजीव गांधी का ही रहा है। श्री गांधी के बारे में अमिता तोमर द्वारा ”राजीव गांधी आत्म हत्या योजना का सुझावÓÓ प्रधानमंत्री को दिया है, वो घटिया मानसिकता का परिचायक हैं ।
पहले भी विवादित रह चुकी है तहसीलदार
अमिता सिंह पूर्व में भी अपनी कार्यप्रणाली के चलते मिडिया एवं जन मानस में चर्चा में रही है। रतलाम ग्रामीण भाजपा विधायक मथुरालाल डामर से अभद्र व्यवहार करने, उधार रूपये की वसुली, शिकायत जांच के नाम पर मोबाईल जप्त करना आदि नियम विपरित कार्य करते हुए कई बार विवादों में घिर चुकी है। तहसीलदार ने अपने पद का दुरूपयोग करते हुए भारतीय लोकतंत्र का माखौल उड़ाया गया है। ज्ञापन में अनुरोध किया है कि अमितासिंह तोमर के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही कर, उन्हें पद से बर्खास्त किया जाए। इस दौरान जिलाध्यक्ष श्री राठौड़ के साथ नेताप्रतिपक्ष यास्मीन शेरानी, ब्लाक कांग्रेस अध्यक्ष मंसूर अली पटौदी, एनएसयूआई अध्यक्ष आयुष सिंह, आदिवासी विकास परिषद अध्यक्ष किशन सिंगाड़, पार्षद शांतिलाल शर्मा, पार्षद चंद्रप्रकाश पुरोहित, विजयसिंह चौहान, इक्का बैलूत, नरेंद्र बोरासी, अनिल कटारिया आदि मौजूद थे।