भ्रष्टाचार की जांच के लिए केन्द्र से आएगा दल
ग्रामीण विकास मंत्री ने कहा भेदभाव का आरोप निराधार
रतलाम,10 मार्च (इ खबरटुडे)। केन्द्रीय ग्रामीण विकास योजनाओं में हो रहे भ्रष्टाचार एवं अनियमिताओं की जांच के लिए केंद्र से एक दल को भेजा जाएगा। मनरेगा के कार्यों में हो रहे भ्रष्टाचार की शिकायतों को देखते हुए प्रदेश के आदिवासी क्षेत्र झाबुआ, अलीराजपुर, बड़वानी और धार जिले की जांच करवाकर भ्रष्टाचार और अनियमितताओं का पता लगाया जाएगा। उक्त बात केन्द्रीय ग्रामीण विकास मंत्री जयराम रमेश ने शनिवार को कलेक्टोरेट सभागृह में पत्रकारों से चर्चा में कही। उन्होने कहा कि यह दल कार्यों व योजनाओं में हो रहे भ्रष्टाचार की जांच रिपोर्ट केंद्र को एक माह में सौंपेगा। केंद्र यह रिपोर्ट प्रदेश सरकार को देगा ताकि प्रदेश सरकार दोषी अधिकारियों व कर्मचारियों पर कार्रवाई कर सके।
रमेश ने कहा कि प्रदेश के मुख्यमंत्री केंद्र की योजनाओं को अलग नाम से प्रचारित कर रहे हैं। केन्द्र सरकार प्रदेश के साथ भेदभाव करती है यह आरोप बिल्कुल निराधार और राजनीति से प्रेरित है। श्री रमेश ने कहा कि पिछले एक वर्ष में ग्रामीण विकास मंत्रालय से सभी योजनाओं में पर्याप्त से भी अधिक राशि उपलब्ध करवाई है। उन्होने कहा कि प्रधानमंत्री सडक योजना में प्रदेश में 9 हजार 500 किलोमीटर सडको के लिए 3700 करोड़ रूपए दिए है। प्रदेश में इंदिरा आवास योजना में भी इस वर्ष का लक्ष्य 85 हजार का था जिसे केन्द्र सरकार ने दोगुना कर 1 लाख 70 हजार का कर दिया है। श्री रमेश ने कहा कि राय एवं केन्द्र के बीच संवेदनशील रिश्ता होता है और वे उसमें तनाव नही चाहते। केन्द्र सरकार की योजनाओं का नाम बदलने पर भी केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि यह ठीक नही है। उन्होने डायरेक्ट टू केश योजना के मार्फत आम आदमी को उसका शत प्रतिशत हक मिलने के सपने को पूरा होने की बात कही। उन्होने कहा कि वर्तमान में 51 जिलो में लागू यह योजना आने वाले समय में पूरे देश में लागु कर दी जाएगी। ऐेसे में इस योजना से बिचौलिए और दलाल बेरोजगार हो जाएंगे और गरीब को उनका हक सीधे-सीधे मिलने लगेगा। उन्होने कहा कि राष्ट्रीय आजिविका योजना के जरिए 60 लाख समूह बनाकर 7 करोड़ महिलाओ को जोड़ा जाएगा एवं बैंको के माध्यम से उन्हे वित्तीय सहायता उपलब्ध करवाई जाएगी। प्रेस काफे्रंस में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कांतिलाल भूरिया, सांसद प्रेमचंद गुड्डु एवं ग्रामीण विकास मंत्रालय के अधिकारी भी उपस्थित थे