प्राकृतिक आपदा में पशुहानि होने पर राहत राशि की दर निर्धारित
पहली बार एक माह में दो बार हुई राहत राशि में वृद्धि
उज्जैन 21 मार्च (इ खबर टुडे ) । मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा ओला प्रभावित क्षेत्रों का सघन दौरा करने के तुरंत बाद राहत राशि बढ़ाने के निर्देश का स्वागत करते हुए राजस्व मंत्री करण सिंह वर्मा ने कहा है कि प्राकृतिक आपदा की इस घड़ी में राज्य सरकार मन, वचन, कर्म से किसानों के साथ है। प्रदेश के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है जब मात्र एक माह के भीतर प्राकृतिक आपदा पीडि़तों के लिये राहत राशि में दो बार वृद्धि की गई।
राजस्व मंत्री श्री वर्मा ने बताया कि राहत राशि में वृद्धि के आदेश इसी 7 मार्च, 2013 को जारी कर यह वृद्धि 3 फरवरी, 2013 से लागू की गई थी। इसमें पुन: संशोधन किया गया है। अब किसानों को प्याज, आलू, मसाले, ईसबगोल फसल क्षति का भी 25 हजार रुपये प्रति हेक्टेयर की दर से मुआवजा मिलेगा। बढ़ी राहत राशि फरवरी, 2013 से ही प्रभावशील मानी जायेगी। पीडि़त किसानों को गेहूँ, चना आदि फसलों के 50 प्रतिशत से ज्यादा नुकसान होने पर 15 हजार प्रति हेक्टेयर की दर से राहत राशि दी जायेगी, वरन उनका अल्पकालीन ऋण भी मध्यकालीन ऋण में बदला जायेगा। सभी बड़े पशुओं की मृत्यु पर 16 हजार 500 रुपये, भेड़-बकरी 1650, सुअर 1500, मुर्गा-मुर्गी 40 रुपये और प्रति चूजा के लिये 20 रुपये की दर से राहत राशि दी जायेगी।
राजस्व मंत्री ने बताया कि प्रदेश में एक जुलाई, 2002 से 24 नवम्बर, 2006 तक फसल हानि के लिये सहायता मापदण्ड इस प्रकार थे। फसल की 25 से 50 प्रतिशत हानि के लिये 0 से 4 हेक्टेयर तक 1000 रुपये प्रति हेक्टेयर, 4 हेक्टेयर से ऊपर कुछ नहीं। फसल की 50 से 75 प्रतिशत हानि होने पर 0 से 4 हेक्टेयर वाले किसानों के लिये 2000 रुपये प्रति हेक्टेयर, 4 से 10 हेक्टेयर तक के किसानों के लिये 1000 रुपये प्रति हेक्टेयर और 10 हेक्टेयर से ऊपर वाले किसानों के लिये कुछ नहीं। इसी तरह 75 प्रतिशत से अधिक हानि पर 0 से 10 हेक्टेयर वाले किसानों को 2000 रुपये प्रति हेक्टेयर और 10 हेक्टेयर से ऊपर के किसानों को 1000 रुपये प्रति हेक्टेयर मिलता था। राहत राशि की अधिकतम सीमा 12 हजार रुपये तक थी।
राजस्व मंत्री ने कहा कि ओला प्रभावित इलाकों में राजस्व विभाग के अमले द्वारा त्वरित सर्वेक्षण कराकर संबंधित कलेक्टरों द्वारा शासन को अपने-अपने जिले की माँग भेजी जा रही है। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने सभी संभागीय आयुक्तों, कलेक्टरों को ओला प्रभावित किसानों को बढ़ी हुई राहत राशि तत्काल बढ़ाने के निर्देश दिये हैं। मुख्यमंत्री, मंत्रीगण, जन-प्रतिनिधियों और राजस्व विभाग के अधिकारियों-कर्मचारियों द्वारा ओला प्रभावित इलाकों का सतत भ्रमण कर क्षति आकलन किया जा रहा है।