November 9, 2024

अगर 10 लाख से ज्यादा है सालाना सैलरी, तो LPG सिलेंडर पर नहीं मिलेगी सब्सिडी

नई दिल्ली 28 दिसम्बर(इ खबरटुडे)।केंद्र सरकार ने रसोई गैस की सब्सिडी के बारे में एक अहम फैसला लेते हुए ऐलान किया है कि अब 10 लाख से अधिक सालाना सैलरी वाले उपभोक्ताओं को सब्सिडी नहीं मिलेगी।

फिलहाल सभी परिवारों को एक साल में 14.2 किलोग्राम के 12 रसोई गैस सिलेंडर सब्सिडी पर मिलते हैं। इससे ज्यादा उपयोग करने पर ग्राहकों को बाजार मूल्य पर सिलेंडर मिलते हैं। दिल्ली में फिलहाल सब्सिडी वाले एक एलपीजी सिलेंडर का दाम 417.82 रुपये, वहीं बिना सब्सिडी वाले सिलेंडर का दाम 606.50 रुपये पड़ता है। सरकार इन सिलेंडरों पर सब्सिडी के पैसे सीधे उपभोक्ताओं के बैंक खाते में ट्रांसफर करती है, जिससे कि वे बाजार दरों पर सिलेंडर खरीदते हैं।
पेट्रोलियम मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि सरकार ने संपन्न लोगों से स्वैच्छिक रूप से सब्सिडी वाली एलपीजी छोड़ने तथा बाजार मूल्य पर सिलेंडर खरीदने को कहा था। अभी तक 15 करोड़ एलपीजी उपभोक्ताओं में से 57.5 लाख ने सब्सिडी वाला सिलेंडर छोड़ा है। बयान में कहा गया है कि जहां कई उपभोक्ताओं ने स्वैच्छिक रूप से सब्सिडी छोड़ी है, वहीं यह जरूरत महसूस की जा रही है कि उच्च आय वर्ग के लोगों को एलपीजी सिलेंडर बाजार कीमत पर मिलना चाहिए।
हालांकि, शुरुआत में इस योजना को जनवरी में सिलेंडर की बुकिंग कराते समय स्वघोषणा के आधार पर लागू किया जाएगा। सब्सिडी बिल में कटौती तथा राजकोषीय घाटे को कम करने के लिए पूर्ववर्ती यूपीए सरकार ने सितंबर, 2012 में प्रत्येक परिवार के लिए सब्सिडी वाले सिलेंडरों की संख्या सालाना छह कर दी थी। बाद में इसे संशोधित कर नौ किया गया था। जनवरी, 2014 में इसे 1 अप्रैल से सालाना 12 सिलेंडर किया गया था।
सालाना 12 सिलेंडरों की सब्सिडी सीधे उपभोक्ता के बैंक खाते में डाली जाती है, जिसके जरिये वे बाजार मूल्य पर सिलेंडर खरीदते हैं। वित्त वर्ष 2014-15 में एलपीजी के लिए 40,551 करोड़ रुपये की सब्सिडी का भुगतान किया गया। इस वित्त वर्ष में यह आधी से भी कम रहेगी, क्योंकि तेल कीमतें छह साल के निचले स्तर पर आ गई हैं। अप्रैल-सितंबर के दौरान सब्सिडी खर्च 8,814 करोड़ रुपये रहा है। इस बारे में कोई अनुमान नहीं है कि कितने एलपीजी उपभोक्ताओं की सालाना कर योग्य आय 10 लाख रुपये या अधिक है।
योजना का मकसद यह है कि सब्सिडी लाभ लक्षित समूह तक पहुंचे
फिलहाल देश में 16.35 करोड़ एलपीजी उपभोक्ता हैं। एलपीजी के लिए प्रत्यक्ष लाभ अंतरण (डीबीटीएल) योजना शुरू होने के बाद यह आंकड़ा घटकर 14.78 करोड़ रह गया, क्योंकि इससे डुप्लिकेट और निष्क्रिय उपभोक्ता बाहर हो गए हैं। बयान में कहा गया है कि इस योजना का मकसद यह है कि सब्सिडी लाभ लक्षित समूह तक पहुंचे।
प्रधानमंत्री के इस आह्वान के बाद 57.50 लाख लोगों ने एलपीजी सब्सिडी छोड़ी
सरकार ने संपन्न लोगों से स्वैच्छिक रूप से सब्सिडी छोड़ने का आह्वान किया था। प्रधानमंत्री के इस आह्वान के बाद 57.50 लाख लोगों ने एलपीजी सब्सिडी छोड़ी है। सरकार के ‘गिव इट अप’ अभियान से बचने वाली सब्सिडी का इस्तेमाल ‘गिव बैक’ अभियान के जरिये गरीबी रेखा से नीचे (बीपीएल) के परिवारों को नए कनेक्शन देने के लिए किया जा रहा है।

You may have missed

Here can be your custom HTML or Shortcode

This will close in 20 seconds

Patel Motors

Demo Description


Here can be your custom HTML or Shortcode

This will close in 20 seconds