महिलाओं ने 6 एकड़ जमीन पर बसाई हरी बगिया
Chhatarpur News: छतरपुर जिले के खौंप गांव की महिलाओं ने खाली पड़ी 6 एकड़ सरकारी जमीन को हरियाली में बदल दिया है। तीन साल पहले शुरू हुई यह पहल अब गांव की पहचान बन चुकी है। गांव की 12 महिलाओं के स्व-सहायता समूह ने मियावाकी पद्धति से बगिया तैयार की है और अब वे 2500 पेड़ों की देखरेख कर रही हैं।
बगिया में अमरूद, जामुन, नींबू, कटहल, मुनगा जैसे फलदार पौधों के साथ भिंडी, टमाटर, मूंग, उड़द जैसी मौसमी सब्जियां भी उगाई जा रही हैं। खास बात यह है कि रासायनिक खाद का उपयोग बिल्कुल नहीं होता। महिलाएं खुद जीवामृत नामक जैविक खाद बना रही हैं, जो गोबर, गोमूत्र, गुड़, बेसन और जंगल की मिट्टी से तैयार किया जाता है।
समूह की अध्यक्ष कौशल्या रजक और सचिव पार्वती रजक बताती हैं कि शुरुआत में पानी की बहुत दिक्कत थी, इसलिए कुएं और तालाब से पानी भरकर लाना पड़ता था। लेकिन मेहनत रंग लाई और अब पौधे फल भी देने लगे हैं। इससे मिलने वाली आमदनी से महिलाओं के घर चलने लगे हैं।प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी 'मन की बात' कार्यक्रम में इस बगिया की तारीफ की थी। तब यहां 2300 पौधे थे, जो अब बढ़कर 2500 हो चुके हैं। अब यह बगिया न सिर्फ गांव की खूबसूरती बढ़ा रही है, बल्कि महिलाओं को आत्मनिर्भर भी बना रही है।