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Barwani News: जिले के अस्पताल में एक भी नहीं है एंबुलेंस

 

Barwani News: सिविल अस्पताल की दोनों एंबुलेंस उपयोग लायक नहीं रही। ऐसे में शहरी क्षेत्र में हादसे के दौरान मरीजों को अस्पताल लाने और अस्पताल से घायल को रैफर करने के दौरान एंबुलेंस आने में देरी होने से परेशानी होती है। इसलिए अस्पताल की खुद की एक एंबुलेंस होना जरूरी है। शिक्षा विभाग के अधिकारी व कर्मचारियों ने एंबुलेंस खरीदी के लिए राशि स्वास्थ्य विभाग को दी है लेकिन अभी तक एंबुलेंस की खरीदी नहीं की जा सकी है।

सिविल अस्पताल में दो एंबुलेंस थी। एक एंबुलेंस करीब 20 साल पुरानी होने से खराब हो गई। वहीं एक अन्य एंबुलेंस दुर्घटना का शिकार हो गई। ये भी वर्षों पुरानी होने से उपयोग लायक नहीं बची। ऐसे में अस्पताल की दोनों एंबुलेंस खरान हो गई। शहरी क्षेत्र में दुर्घटना होने पर घायलों को अस्पताल पहुंचाने के लिए 108 पर फोन किया जाता है।

इनके व्यस्त होने पर पहुंचने में देरी होती है। ऐसे में कई बार निजी वाहन से घायल को सिविल अस्पताल लाना पड़ता है। कुछ दिन पहले ही इसी तरह का मामला आया था। अस्पताल की खुद की एंबुलेंस हो तो शहरी क्षेत्र में हादसे के दौरान घायल को जल्दी अस्पताल पहुंचाया जा सकता है। ऐसे में अस्पताल में एंबुलेंस होना जरूरी है।

सीएमएचओ को लिख चुके है

शिक्षा विभाग के अधिकारी व कर्मचारियों ने जो राशि एकत्रित करके दी है उससे जो एंबुलेंस खरीदी जानी है उसका रजिस्ट्रेशन शासकीय वाहन के अंतर्गत हो जिससे बीमा आदि का खर्च सिविल अस्पताल की रोगी कल्याण समिति को नहीं वहन करना पड़े। इस संबंध में बीएमओ कार्यालय से सीएमएचओ को पत्र लिखे गए हैं। हालांकि अभी तक एंबुलेंस की खरीदी नहीं हुई है। इस संबंध में सीएमएचओ डॉ. सुरेखा जमरे से संपर्क कर जानकारी लेना चाही लेकिन उन्होंने कॉल रिसीव नहीं किया।

कोरोना काल में एकत्रित की राशि

कोरोना महामारी के दौरान सेंधवा विकासखंड के शिक्षा विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों ने ऑक्सीजन प्लांट लगाने में सहयोग देने के लिए राशि एकत्रित की थी। हालांकि बाद में सरकार ने ऑक्सीजन प्लांट लगा दिया। ऐसे में शिक्षा विभाग के अफसरों ने इस राशि का उपयोग एंबुलेंस या आवश्यक मशीनें खरीदने में करने की बात कही। हालांकि अब तक एंबुलेंस की खरीदी नहीं हो पाई है।

इलाज में देरी होने से घायलों की हुई मौत

एबी रोड पर बिजासन घाट क्षेत्र में पिछले माह ट्रक ने ट्रैक्टर को टक्कर मारी थी। हादसे में महाराष्ट्र निवासी ट्रैक्टर चालक गंभीर घायल हुआ था। सिविल अस्पताल लाने के बाद उसे जिला अस्पताल रैफर किया गया। अस्पताल की ओर से 108 एंबुलेंस बुलाई गई। परिजनों के अनुसार एंबुलेंस आई लेकिन चालक ने टायर खराब होने से नहीं जाने की बात कही।

दूसरी एंबुलेंस आई तब तक चालक की मौत हो गई थी। सेंधवा खेतिया स्टेट हाईवे पर ट्रक की टक्कर से घायल युवक की इलाज के दौरान मौत हो गई थी। परिजनों के अनुसार एंबुलेंस नहीं मिलने से युवक को निजी वाहन से सिविल अस्पताल ले गए थे। पैर में गंभीर चोट होने से प्राथमिक इलाज के बाद जिला अस्पताल बड़वानी रैफर किया। इसके बाद एंबुलेंस व्यस्त होने से निजी वाहन से ही उसे जिला अस्पताल ले गए। जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई थी। परिजनों का कहना था यदि एंबुलेंस मिल जाती तो युवक की जान बच सकती थी।