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नेपानगर में स्वास्थ्य सुविधाओं की खस्ता स्थिति, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र अधूरे, संजीवनी क्लिनिक भी बंद

 

Burhanpur News: नेपानगर शहर और आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों में स्वास्थ्य सुविधाओं की स्थिति गंभीर रूप से खराब है। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र को सिविल अस्पताल का दर्जा देने की मांग लंबित है और अब तक इसे पूरा नहीं किया गया। नगर के वार्ड नंबर 8 में दो साल पहले बनकर तैयार संजीवनी क्लिनिक भी अब तक चालू नहीं हुआ।

ग्रामीण क्षेत्रों में बन रहे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों के निर्माण कार्य भी अधूरे पड़े हैं। नावरा में बन रहे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का भवन दो साल से अधूरा है। स्थानीय अधिकारियों के अनुसार स्वास्थ्य विभाग में अधिकांश निर्माण कार्य सीधे भोपाल से स्वीकृत होते हैं, जिससे स्थानीय स्तर पर मॉनिटरिंग और समय पर कार्यवाही नहीं हो पाती।

सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में डॉक्टरों, स्टाफ और संसाधनों की भारी कमी है। कुछ केंद्र तो बनकर तैयार हैं, लेकिन संचालन शुरू नहीं होने के कारण भवन खराब होने की स्थिति में पहुँच रहे हैं। ग्रामीणों को उपचार के लिए नेपानगर या बुरहानपुर जाना पड़ता है, जिससे समय और आर्थिक नुकसान होता है।

नेपानगर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र को सिविल अस्पताल का दर्जा देने की मांग लंबे समय से चल रही है। क्षेत्रीय विधायक मंजू दादू ने भी इस संबंध में दो बार मुख्यमंत्री और स्वास्थ्य मंत्री से मुलाकात की, लेकिन अब तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। अस्पताल में विशेषज्ञ डॉक्टरों की कमी है। नाक, कान, गला रोग, स्त्री रोग और हड्डी रोग विशेषज्ञ यहां तैनात नहीं हैं। आपात स्थिति में केवल प्राथमिक उपचार ही उपलब्ध है।

संजीवनी क्लिनिक भी चालू नहीं है। पुराना सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र शहर के अंदर था, लेकिन नया केंद्र शहर से दूर तहसील कार्यालय के सामने बनाया गया। स्टाफ और संसाधनों की अनुपलब्धता के कारण क्लिनिक संचालन में नहीं आ पाया।

सीएमएचओ डॉ. आरके वर्मा ने बताया कि उच्च स्तर से प्रक्रिया चल रही है, लेकिन इसे अभी तक पूरा नहीं किया गया। ग्रामीण और शहरवासियों की स्वास्थ्य सुविधाओं के अभाव की स्थिति को देखते हुए जल्द कदम उठाने की आवश्यकता है, ताकि लोगों को समय पर उचित उपचार और सुविधाएं मिल सकें।