Chhatarpur News: छतरपुर जनपद की अतरार पंचायत में सफाई व्यवस्था पूरी तरह चरमराई हुई है। पंचायत की मुख्य सड़कों के किनारे कचरे के ढेर लगे हैं। लोगों के घरों से निकलने वाला गंदा पानी सड़कों पर बह रहा है। पंचायत जिला मुख्यालय से सिर्फ 14 किलोमीटर दूर है, फिर भी जनपद अधिकारियों का ध्यान यहां की सफाई व्यवस्था पर नहीं है।
ग्रामीणों ने बताया कि सरपंच और सचिव को कई बार सफाई की समस्या बताई गई। इसके बाद भी कोई कार्रवाई नहीं हुई। पंचायत की गलियों और मुख्य सड़कों पर महीनों से गंदगी फैली है। मुख्य रास्तों पर कचरे के ढेर लगे हैं। बदबू के कारण लोगों को निकलने में परेशानी होती है।स्वच्छ भारत मिशन के तहत हर पंचायत में सफाई कर्मियों की नियुक्ति की गई थी।
लेकिन अधिकारी ध्यान नहीं दे दे रहे। सफाई कर्मी गांवों में नहीं पहुंचते। कुछ कर्मी सरपंच के घर या पंचायत भवन के आसपास सफाई कर लौट जाते हैं। इससे मुख्य सड़कों और गलियों में गंदगी बनी रहती है।
ईशानगर ब्लॉक के कई गांवों में शौचालयों में भरा जा रहा कंडा, लकड़ी और भूसा
ईशानगर ब्लॉक के कई गांवों में शौचालय अधूरे पड़े हैं। कई परिवारों को आज भी खुले में शौच जाना पड़ रहा है। कई ग्रामीणों ने अधूरे शौचालयों में लकड़ी, कंडा और भूसा भर दिया है। कुछ शौचालयों में ताले लगे हैं। पंचायत न तो इन पर ध्यान दे रही है, न ही ग्रामीणों को इनके उपयोग के लिए समझाया जा रहा है।
कई जगह पंचायत ने सिर्फ दिखावे के लिए एक शौचालय बनवाया है। एक ही शौचालय का कई लोग उपयोग कर रहे हैं। बाकी शौचालयों में कबाड़ भर दिया गया है। कुछ शौचालय नहाने के काम आ रहे हैं। कुछ को कंडा घर बना दिया गया है। कई का निर्माण अब तक पूरा नहीं हुआ है। इससे न तो लोगों को शौचालय का लाभ मिल रहा है, न ही गांवों में स्वच्छता को लेकर जागरूकता आ रही है।
यह हाल सिर्फ एक-दो पंचायतों का नहीं, पूरे क्षेत्र का है। अतरार पंचायत से बिहारीगंज, हिम्मतपुरा, छिरावल जैसे गांवों के लिए मुख्य रास्ता जाता है। इस रास्ते पर लगातार वाहन चलते हैं। सड़क के किनारे कचरे के ढेर और गंदे पानी के कारण आवागमन भी प्रभावित हो रहा है।

