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जर्जर भवन की वजह से पेड़ के नीचे चल रही कक्षाएं, आधे से ज्यादा बच्चे स्कूल से दूर

 

Chhatarpur News: छतरपुर जिले की सटई तहसील के विजयपुर पंचायत में संचालित मिडिल स्कूल की हालत बेहद खराब है। यहां का भवन केवल 11 साल में ही पूरी तरह जर्जर हो चुका है। स्थिति यह है कि छात्रों को पढ़ाई के लिए सामुदायिक भवन और गांव के बरगद के पेड़ के नीचे बैठना पड़ रहा है।

स्कूल में तीन कक्षाओं में कुल 78 छात्र दर्ज हैं और तीन शिक्षक पदस्थ हैं। लेकिन भवन की कमी के कारण अगस्त 2024 से कक्षाएं गांव के आदिवासी सामुदायिक भवन में लगाई जा रही हैं। यहां सिर्फ एक ही कमरा है, जिसमें सभी बच्चों को समेटना संभव नहीं है। मजबूरी में बच्चों को खुले में चबूतरे पर बैठाकर पढ़ाया जाता है। बरसात के दिनों में तो यह भी संभव नहीं हो पाता, जिससे उपस्थिति घटकर केवल 50% रह गई है।

ग्रामीणों का कहना है कि पानी और शौचालय जैसी बुनियादी सुविधाएं भी नहीं हैं। बच्चों को पीने का पानी लाने आधा किलोमीटर दूर जाना पड़ता है।

2013 में बना था भवन

इस स्कूल का भवन 2013 में बनाया गया था। मात्र 8 से 10 साल में ही भवन इतनी खराब स्थिति में पहुंच गया कि अब यह पढ़ाई के लिए असुरक्षित हो गया है। शिकायतें कई बार अधिकारियों तक पहुंची, 181 पर भी दर्ज कराई गईं, लेकिन कोई ठोस समाधान नहीं हुआ।

अभी तक नया भवन निर्माण शुरू नहीं किया गया है। अधिकारी केवल सामुदायिक भवन में कक्षाएं चलाने के मौखिक निर्देश देकर चुप बैठे हैं। ग्रामीणों और अभिभावकों का कहना है कि अगर जल्द ही नया भवन नहीं बना, तो बच्चे पढ़ाई से वंचित रह जाएंगे।