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रॉक फॉस्फेट के भंडार पर टिकी उम्मीदें, बेरोजगारी से जूझ रहा मड़देवरा

 

Chhatarpur News: छतरपुर जिले से 90 किमी दक्षिण में स्थित मड़देवरा पंचायत का आधा हिस्सा कभी पन्ना रियासत और आधा बिजावर रियासत में शामिल था। ऐतिहासिक महत्व के साथ यहां रॉक फॉस्फेट के बड़े भंडार मौजूद हैं, फिर भी बेरोजगारी के कारण 30-35% लोग पलायन कर चुके हैं।

पंचायत में लुह्यनी गांव भी शामिल है। यहां 10वीं तक स्कूल है, आगे की पढ़ाई के लिए छात्रों को 3-5 किमी दूर जाना पड़ता है। साप्ताहिक बाजार और बस स्टैंड से आवागमन आसान है, लेकिन पानी की समस्या बनी हुई है। पहले रियासत काल में तालाब बनाए गए और रोजगार की व्यवस्था थी, जो अब नहीं है। जो ग्रामीण बचे हैं, वे खेती-बाड़ी से जीवन यापन करते हैं।

खनिज विभाग और जीएसआई की रिपोर्ट के अनुसार यहां 57 लाख मीट्रिक टन रॉक फॉस्फेट भंडार है। अक्टूबर 2020 में 122 हेक्टेयर क्षेत्र में खदान नीलामी का प्रस्ताव रखा गया, जिसमें 67 हेक्टेयर खनन योग्य और 37 हेक्टेयर नॉन-मिनरलाइज्ड भूमि है। इस क्षेत्र के 15-20 हेक्टेयर में रॉक फॉस्फेट की मात्रा अधिक है।

केंद्रीय खनिज मंत्रालय की रोक हटने के बाद नीलामी हुई और भोपाल में ऑनलाइन टेंडर के जरिए जबलपुर की शोभा मिनरल्स को 742 करोड़ रुपये में लीज दी गई।

जनसंख्या: 7,800
साक्षरता दर: 72%
मुख्य आय स्रोत: कृषि व व्यापार
समस्या: उच्च शिक्षा व स्वास्थ्य सुविधाओं की कमी, बेरोजगारी और पानी संकट।