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सीएम हेल्पलाइन और सीएम हाउस, शिकायतें लंबित, जनता परेशान

 

Chhatarpur News: जिले में सीएम हेल्पलाइन और सीएम हाउस के माध्यम से आमजन की शिकायतों का समाधान करने के लिए विशेष व्यवस्था है। लेकिन अधिकारियों की लापरवाही के कारण कई शिकायतें लंबित हैं। शिकायतकर्ता उम्मीद लेकर सीएम हाउस पहुंचते हैं कि उनकी बात सीधे उच्च स्तर तक जाएगी और जल्द कार्रवाई होगी। शुरुआत में शिकायतें संबंधित विभागों को भेज दी जाती हैं, लेकिन मॉनिटरिंग और फॉलोअप नहीं होने से समस्याएं जस की तस बनी रहती हैं।

जिले में सीएम हाउस से 29 शिकायतें लंबित हैं। इनमें 24 एसपी ऑफिस, 4 एसडीएम और 1 जनपद स्तर की हैं। वहीं सीएम हेल्पलाइन में कुल 9017 शिकायतें हैं, जो 100 से अधिक दिनों से लंबित हैं। इनमें महिला एवं बाल विकास विभाग में 4963, खाद्य नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग में 1538, राजस्व विभाग में 495, गृह विभाग में 450, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा विभाग में 398 और स्कूल शिक्षा विभाग में 330 शिकायतें शामिल हैं। इसके अलावा नगरीय विकास, पंचायत एवं ग्रामीण विकास, श्रम, किसान कल्याण, पिछड़ा वर्ग व अल्पसंख्यक कल्याण सहित अन्य विभागों में भी लंबित शिकायतें हैं।

ग्रामीणों और शहरवासियों ने बताया कि कई बार शिकायत करने के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं होती। उदाहरण के लिए, सटई नगर परिषद की अध्यक्ष माया राजेश शर्मा ने दो माह पहले नगर के जर्जर भवनों को ध्वस्त करने के लिए शिकायत की थी, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई। इसी तरह, घुवारा तहसील के मुत्रा राजपूत ने भूमि विवाद के निराकरण के लिए 1 अगस्त को सीएम हाउस में शिकायत की, लेकिन डेढ़ माह बीत जाने के बाद भी कोई समाधान नहीं मिला।

शिक्षा विभाग और पीडब्ल्यूडी के जीर्ण-शीर्ण भवनों को ध्वस्त करने की मांग भी लंबित है। इसके अलावा कोतवाली थाना क्षेत्र के वार्ड 38 के लक्ष्मी रामचंद्र साहू और सटई थाना क्षेत्र के गुड़ीपारवा निवासी उमेश पटेल की शिकायतें भी आठ माह से लंबित हैं। शिकायतों में अभद्र व्यवहार, पत्थर फेंकना और धोखाधड़ी जैसी घटनाओं का उल्लेख है, लेकिन कार्रवाई नहीं हुई।

एडीएम ने बताया कि सीएम हेल्पलाइन और सीएम हाउस से आने वाली शिकायतों की साप्ताहिक समीक्षा की जाती है। विभागीय अधिकारियों को समय सीमा के भीतर शिकायतों का निराकरण करने के निर्देश दिए जाते हैं। जिन शिकायतों का लंबित होना अधिक समय से हो रहा है, उन्हें प्राथमिकता से निपटाने का प्रयास किया जा रहा है।

जिला प्रशासन का कहना है कि जनता की शिकायतों का शीघ्र समाधान करना प्राथमिकता है और सभी विभागों को इसे गंभीरता से लेने के निर्देश जारी किए गए हैं।