Tikamgarh News: टीकमगढ़ जिले में भाजपा पार्षद पूर्व जिलाध्यक्ष के भवन सहित 10 कमर्शियल भवनों में बिना अनुमति तलघर
गौरतलब है कि शहर के अधिकांश लोग निर्माण अनुमति के लिए नगर पालिका में आवेदन ही नहीं देते। टीकमगढ़ शहर में हर साल 300 से ज्यादा नए भवन बन रहे हैं। इनमें से 30-40 व्यवसायिक भवनों की नगर पालिका से किसी प्रकार की कोई अनुमति नहीं होती। सिर्फ वही लोग भवन निर्माण की अनुमति लेने नपा में आवेदन करते हैं, जिनको बैंक से निर्माण के लिए ऋण की जरूरत होती है।
शहर में 10 भवन ऐसे हैं जिनमें तलघरों का निर्माण किया गया है। इनमें अस्पताल चौराहे के पास स्टेट बैंक का भवन, सरोज कान्वेंट के पास निर्माणाधीन भवन, अस्पताल चौराहे के पास निर्माणाधीन भवन, कुंवरपुरा मार्ग पर एक भवन में तलबर बनाया गया है। तलघर व्यवसायिक भवनों में ही उपयोग होते हैं।
उसके लिए शहरी विकास अधिकरण अनुमति देता है। नपा को इसकी अनुमति देने का अधिकार नहीं है। नपा सिर्फ ऐसे भवन निर्माण के लिए फाइल अनुशंसा के साथ शहरी विकास अभिकरण को भेजती है।
Tikamgarh News: शहर में भवन निर्माण मनमर्जी से चल रहा है। ज्यादातर व्यापारिक और आवासीय भवन ऐसे हैं, जिनके मकान मालिकों के पास न तो नगर पालिका की अनुमति है और न ही शहरी विकास अभिकरण की। इसके बाद भी तलघर से लेकर पांच मंजिल तक निर्माण कर लिया गया। इतना ही नहीं बहुमंजिला इमारतों में सुरक्षा के उपाय भी नहीं हैं।
बिना अनुमति बन रहे भवनों पर नपा भी कोई कार्रवाई नहीं करती। वार्ड 17 से भाजपा पार्षद राजीव वर्धमान की स्टेट बैंक के पास बहुमंजिला इमारत में तलघर बना है। साथ ही भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष अमित नुना का कमर्शियल भवन भी इसी के पास बन रहा है। जिसमें तलघर बनाकर वाहनों की पार्किंग की व्यवस्था की जा रही है।
इसी तरह शहर के बीचों बीच स्थित व्ही बाजार के पांच मंजिला भवन में भी तलघर है। तीनों भवनों को लेकर जब नगर पालिका के अधिकारियों से बात की तो पता चला कि टीकमगढ़ के एक भी भवन में तलघर की अनुमति नहीं है। वहीं भाजपा पार्षद राजीव वर्धमान के मॉल की तो कमर्शियल अनुमति भी नहीं है।
इस मामले को लेकर जब पार्षद राजीव वर्धमान से बात की की तो उन्होंने कहा कि मेरे पास अनुमति है, जब उनसे अनुमति दिखाने को कहा तो उन्होंने कहा कि नगर पालिका के पास है, वहां से दिखवा लो।
भवन निर्माण की अनुमति का यह है नियम
भवन निर्माण के लिए भू-स्वामी को दस्तावेज, नामांतरण प्रमाण-पत्र और ब्लूप्रिंट नक्शे के साथ नपा में आवेदन करना पड़ता है। इसके बाद नगर पालिका प्लॉट एरिया का 1.5 गुना भवन निर्माण की अनुमति देती है। वह भी इसी शर्त के साथ कि सुरक्षा का प्रबंध खुद आवेदक ही करेगा। मैरिज गार्डन या व्यापारिक परिसर निर्माण का आवेदन जमीन डायवर्सन प्रमाण-पत्र के साथ नपा अनुशंसा सहित टीएनसीपी को भेजती है।
नपा निर्माण शाखा से मिली जानकारी के अनुसार शहर में अब तक किसी को तलघर के साथ निर्माण की अनुमति नहीं दी गई है। शहरी विकास अभिकरण द्वारा भी तलघर निर्माण की इजाजत नहीं दी गई। नपा द्वारा दी गई आवासीय अनुमति में तीन मंजिल से ज्यादा की अनुमति नहीं दी गई।
हर साल 300 से ज्यादा नए भवन बन रहे
गौरतलब है कि शहर के अधिकांश लोग निर्माण अनुमति के लिए नगर पालिका में आवेदन ही नहीं देते। टीकमगढ़ शहर में हर साल 300 से ज्यादा नए भवन बन रहे हैं। इनमें से 30-40 व्यवसायिक भवनों की नगर पालिका से किसी प्रकार की कोई अनुमति नहीं होती। सिर्फ वही लोग भवन निर्माण की अनुमति लेने नपा में आवेदन करते हैं, जिनको बैंक से निर्माण के लिए ऋण की जरूरत होती है।
शहर में 10 भवन ऐसे हैं जिनमें तलघरों का निर्माण किया गया है। इनमें अस्पताल चौराहे के पास स्टेट बैंक का भवन, सरोज कान्वेंट के पास निर्माणाधीन भवन, अस्पताल चौराहे के पास निर्माणाधीन भवन, कुंवरपुरा मार्ग पर एक भवन में तलबर बनाया गया है। तलघर व्यवसायिक भवनों में ही उपयोग होते हैं।
उसके लिए शहरी विकास अधिकरण अनुमति देता है। नपा को इसकी अनुमति देने का अधिकार नहीं है। नपा सिर्फ ऐसे भवन निर्माण के लिए फाइल अनुशंसा के साथ शहरी विकास अभिकरण को भेजती है।
भवनों में सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम नहीं
नपा के पास आगजनी के दौरान सुरक्षा के नाम पर सिर्फ दो फायर ब्रिगेड हैं। उनमें भी एक गाड़ी अक्सर खराब रहती है। पिछले दो महीने में हुई आग लगने की घटनाओं में बीना बीना और और ललितपुर की फायर गाड़ियों को बुलाना पड़ा था। वहीं छोटी घटनाओं मैं भी आसपास की नगर परिषदों की गाड़ियों को बुलाना पड़ता है।
तलघर बनाने वालों को जारी होंगे नोटिस
शहर में जितने कमर्शियल भवन हैं, उनको चिह्नित किया जा रहा है। जिन भवनों में तलघर हैं उनके मालिकों को नोटिस जारी करने की तैयारी है। जहां नियम से अधिक निर्माण है, उनको भी चिह्नित करेंगे, इसके बाद नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी। ओमपाल सिंह भदौरिया, सीएमओ, नगर पालिका, टीकमगढ़