बटवाड़िया डेम में पानी लबालब, किसानों और नगरवासियों को राहत
Dhaar News: बदनावर और आसपास के गांवों में हाल ही में हुई लगातार बारिश से बटवाड़िया डेम लबालब भर गया है। पिछले कुछ सालों में इस क्षेत्र में पानी की स्थिति सुधारने के लिए यह डेम ग्राम मांगलिया के बागेड़ी नदी पर बनाया गया था। अब गर्मी में पानी की कमी की समस्या नहीं रहती। इस वर्ष अब तक लगभग 45 इंच बारिश हो चुकी है, जिससे डेम से 1400 हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई संभव हो गई है।
सिंचाई और पेयजल का महत्वपूर्ण स्रोत
बटवाड़िया डेम क्षेत्र के किसानों और नगरवासियों के लिए जल का एक अहम स्रोत बन चुका है। किसानों के लिए यह डेम उनकी फसलों को पानी देने का भरोसेमंद साधन है, खासकर उन इलाकों में जहां बारिश कम होती है। इसी पानी की मदद से मांगलिया, केशरपुरा, बटवाड़िया, बखतगढ़, घटगारा और चावंडाखेड़ी के किसानों के खेतों में सिंचाई की जाती है।
नगरवासियों के लिए भी डेम लाभकारी है। डेम से प्रतिदिन नगर की 30 हजार आबादी को लगभग 34 लाख लीटर पेयजल उपलब्ध कराया जाता है। पानी बागेड़ी फिल्टर प्लांट तक दो 25-25 हार्स पावर वाली मोटरों के जरिए लाया जाता है और वहां से पांच टंकियों में भरा जाता है। इस व्यवस्था के जरिए पूरे शहर में पूरे साल भर पानी की आपूर्ति होती है।
भू-जलस्तर में सुधार
डेम से केवल सिंचाई और पेयजल ही नहीं मिलता, बल्कि भू-जलस्तर में भी सुधार होता है। किसानों के अनुसार, 38 इंच बारिश के बाद ही डेम लबालब भर जाता है। कई गांवों में किसान पाइपलाइन के माध्यम से फसल सिंचाई के लिए सीधे डेम का पानी लेते हैं।
निर्माण और क्षमता
बटवाड़िया डेम का निर्माण वर्ष 2010-11 में जल संसाधन विभाग द्वारा किया गया था। डेम की जल संग्रहण क्षमता 7.32 मिलियन घन मीटर है। रबी के मौसम में नहरों के माध्यम से आसपास के खेतों में पर्याप्त सिंचाई होती है।
ग्रामीणों और शहरवासियों के लिए वरदान
स्थानीय लोग बताते हैं कि डेम बनने के बाद उनके जीवन में जल संकट काफी हद तक कम हुआ है। किसानों को फसलों के लिए पर्याप्त पानी मिल रहा है और नगरवासियों को नियमित पेयजल आपूर्ति सुनिश्चित हो गई है। इससे क्षेत्र के किसान और आम लोग दोनों लाभान्वित हुए हैं।