धन्ना सेठ बना देगी इस फसल की खेती! मात्र 6 महीने में होगी बंपर पैदावार, बन जाएंगे मालामाल
Garlic farming: लहसुन एक महत्वपूर्ण मसाला फसल है, जिसका उपयोग हर भारतीय रसोई में होता है। इसके साथ ही लहसुन औषधीय गुणों से भरपूर होता है, जिससे इसकी मांग घरेलू और अंतरराष्ट्रीय बाजारों में हमेशा बनी रहती है। सही तकनीक और देखभाल के साथ लहसुन की खेती कर किसान कम लागत में अधिक मुनाफा कमा सकते हैं और मालामाल बन सकते हैं।
लहसुन की खेती के फायदे:
1. हमेशा मांग में:
- लहसुन का उपयोग मसालों, दवाइयों और औद्योगिक उत्पादों में किया जाता है। इसकी मांग सालभर बनी रहती है।
2. कम लागत, अधिक मुनाफा
- लहसुन की खेती में ज्यादा खर्च नहीं होता, लेकिन उपज अच्छी होने पर लाभ कई गुना बढ़ जाता है।
3. भंडारण की सुविधा:
- लहसुन को लंबे समय तक भंडारित किया जा सकता है, जिससे किसान सही समय पर इसे बाजार में बेच सकते हैं।
खेती की प्रक्रिया
1. जलवायु और मिट्टी:
लहसुन ठंडी और शुष्क जलवायु में अच्छा उगता है। 12°C से 24°C का तापमान इसकी खेती के लिए उपयुक्त है। यह बलुई दोमट और उपजाऊ मिट्टी में बेहतर परिणाम देता है। मिट्टी का pH स्तर 6-7 के बीच होना चाहिए।
2. बुवाई का समय:
लहसुन की बुवाई अक्टूबर से नवंबर के बीच की जाती है। यह समय पौधों के विकास के लिए सबसे अनुकूल होता है।
3. बीज चयन और बुवाई:
- बीज के लिए बड़ी, स्वस्थ और सड़ी-गली रहित कलियों का चयन करें।
- बुवाई के लिए पौधों के बीच 10-15 सेंटीमीटर और कतारों के बीच 20 सेंटीमीटर की दूरी रखें।
- कलियों को 2-3 सेंटीमीटर गहराई में लगाएं।
देखभाल और खाद:
1. सिंचाई:
- पहली सिंचाई बुवाई के तुरंत बाद करें।
- हर 10-15 दिनों में सिंचाई करें, लेकिन पानी का ठहराव न होने दें।
2. उर्वरक:
- बुवाई से पहले जैविक खाद या गोबर की खाद डालें।
- 50 किलो नाइट्रोजन, 25 किलो फॉस्फोरस, और 25 किलो पोटाश का उपयोग करें।
3. निराई-गुड़ाई:
- खरपतवार को हटाने के लिए नियमित रूप से गुड़ाई करें।
फसल कटाई और मुनाफा:
लहसुन की फसल 120-150 दिनों में तैयार हो जाती है। जब इसके पत्ते पीले होकर सूखने लगें, तो फसल काट लें। एक हेक्टेयर में 80-100 क्विंटल तक लहसुन का उत्पादन होता है।
- बाजार में लहसुन की कीमत ₹50-₹100 प्रति किलो तक होती है।
- अगर किसान अपनी फसल को सही समय पर बेचें, तो वे लाखों रुपये का मुनाफा कमा सकते हैं।
लहसुन की खेती एक लाभकारी व्यवसाय है। कम लागत, उच्च मांग, और लंबे समय तक भंडारण की सुविधा इसे किसानों के लिए एक आकर्षक विकल्प बनाती है। सही तकनीक और मेहनत से किसान लहसुन की खेती कर मालामाल बन सकते हैं।