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शहरी परिवारों का पैकेज्ड फूड पर बढ़ा खर्च, एक रिपोर्ट के अनुसार

 

Packaged Food: अब शहरों में ज्यादातर परिवार पैकेज्ड फूड और बाहर के खाने को ज़्यादा पसंद करने लगे हैं। इसका एक कारण यह है कि लोगों के पास पहले से ज़्यादा पैसे हैं और जिंदगी तेज़ हो गई है। लेकिन यह आदत सेहत के लिए नुकसानदेह भी हो सकती है।

एक हालिया रिपोर्ट के मुताबिक, शहरों के ऐसे परिवार जो अच्छा कमाते हैं, वे अब अपने महीने के खाने के बजट का लगभग आधा हिस्सा पैकेज्ड चीजों, बाहर खाने और फूड डिलीवरी पर खर्च कर रहे हैं। यह पहले के मुकाबले काफ़ी बढ़ोतरी है।

ये बदलाव अब सिर्फ शहरों तक सीमित नहीं हैं। गांवों में भी अब लोग धीरे-धीरे तैयार खाने, डिब्बाबंद ड्रिंक्स और दूध से बनी चीजों की तरफ बढ़ रहे हैं। रिपोर्ट में बताया गया है कि 2011-12 की तुलना में अब गांवों में भी खाने पर खर्च का तरीका बदल गया है।
जैसे –

1. पेय पदार्थों पर खर्च 15% से बढ़कर 21% हो गया है।

2. दूध और उससे जुड़ी चीजों पर खर्च 15 से बढ़कर 18% तक पहुंच गया है।

3. फलों पर खर्च 5 से बढ़कर 8% हो गया है।

4. अनाज पर खर्च घटकर 11% रह गया है, जो पहले 20% था।

इतना ही नहीं, प्रोटीन से भरपूर चीजों जैसे अंडे, मछली और मांस पर खर्च भी 6% से बढ़कर 10% हो गया है। सबसे ज्यादा बढ़ोतरी पैकेज्ड फूड पर देखने को मिली है। जो 9% से बढ़कर 23% तक पहुंच गया है।

अब चाहे शहर हो या गांव  हर जगह लोग खाने-पीने की आदतों में बड़ा बदलाव ला रहे हैं। ये बदलाव सुविधाजनक तो हैं, लेकिन सेहत को लेकर सतर्क रहना भी ज़रूरी है।