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आयकर विभाग की सख्ती,अ​धिकारियों को दी छूट और कटौती की सख्ती से जांच के निर्देश

 

 केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड यानी सीबीडीटी ने आयकर अ​धिकारियों को सख्त निर्देश देते हुए छूट और कटौती के फर्जी दावों की पहचान करने को कहा है। बोर्ड ने एडवांस आयकर जमा करने वाले शीर्ष करदाताओं पर बारीक नजर रखने को भी कहा है ताकि कोई फर्जीवाड़ा नहीं कर सके। यह प्रत्यक्ष कर संग्रह में सुधार की रणनीति के तहत किया गया है। यह एडवांस वह रा​शि है जो एक वित्तवर्ष में चार किस्तों के जरिये हर तिमाही के अंतिम महीने की 15 तारीख से पहले अग्रिम चुकाई जाती है। 


कर के माध्यम से 25.20 लाख करोड़ जुटाने का लक्ष्य
सीबीडीटी ने इस वित्तवर्ष यानी 2025-26 के लिए केंद्रीय कार्ययोजना जारी की है। इसमें राजस्व के संग्रहण को बढ़ाने के निर्देश दिए हैं। इस साल फरवरी महीने में केंद्र सरकार ने चालू वित्त वर्ष के लिए प्रत्यक्ष कर के तहत 25.20 लाख करोड़ रुपये के राजस्व का लक्ष्य रखा है। इसमें यदि हम कॉरपोरेट कर की बात करें तो यह 10.82 लाख करोड़ तथा गैर कॉरपोरेट 13.60 लाख करोड़ रुपये रखा गया है। एसटीटी के तहत 78 हजार करोड़ रुपये का लक्ष्य शामिल किया गया है। 


इस बार 13.57 प्रतिशत कर बढ़ोतरी का लक्ष्य
यदि हम वित्तवर्ष 2024-25 की बात करें तो शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह लक्ष्य से पीछे रह गया था। यह 13.57 प्रतिशत बढ़कर 22.26 करोड़ से अ​धिक रहा। इस साल फरवरी में पेश किए गए बजट में लक्ष्य संशो​धित करके 23.37 लाख करोड़ रुपये कर दिया गया है। जुलाई 2024 में यह 22.07 लाख करोड़ था। इसलिए बेहतर कर संग्रह के लिए क्षेत्रीय विश्लेषण करने का सुझाव दिया गया है। 


अपे​क्षित से कम कर तो ज्यादा ध्यान देने के निर्देश
सीएपी का सुझाव है कि जहां राजस्व अपेक्षा से कम आ रहा है, वहां पर ज्यादा ध्यान देने की जरूरत है। नियमों का पालन नहीं करने वाले करदाताओं पर कार्रवाई के लिए भी कहा गया है। बकाया व चालू मांग को इकट्ठा करने पर भी जोर दिया गया है। आयकर आयुक्त ने 2024-25 में 1.95 लाख करोड़ रुपये की मांगों की पु​ष्टि की है। चालू वित्त वर्ष में इस राजस्व को वसूलने के लिए हर संभव प्रयास करने के निर्देश दिए गए हैं। 


छूट और कटौतियों की सही जानकारी देना
सीएपी ने कर विभाग से जागरूकता कार्यक्रम आयोजित करने को भी कहा है। इन कार्यक्रमों में कर दाताओं को सही छूट और कटौतियों के बारे में जानकारी देने के लिए कहा गया है ताकि करदाता जागरूक हों और वह सही आयकर रिटर्न दा​खिल करें। इसके अलावा करदाताओं को अपडेट रिटर्न दा​खिल करने के बारे में भी जागरूक करने पर जोर दिया गया है। 


तुरंत रिफंड जारी करें
सीएपी ने इसके अलावा जल्द से जल्द रिफंड जारी करने के निर्देश​ भी दिए हैं। जल्द से जल्द रिफंड जारी करने से ब्याज भुगतान और समग्र बजट पर नकारात्मक प्रभाव नहीं पड़ता। विभाग की तरफ से बताया गया कि 2024-25 के दौरान अब तक का सबसे अ​धिक रिफंड 4.47 लाख करोड़ रुपये जारी किया गया। 2023-24 में यह केवल 3.78 लाख करोड़ रुपये था, जो 2024-25 में 26.04 प्रतिशत अधिक है।