हवाई यात्रियों के
लगातार बढ़ते असंतोष और शिकायतों के बीच नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) ने टिकट राशि की वापसी से जुड़े नए नियमों का मसौदा जारी किया है। इसमें एयरलाइंस की जवाबदेही तय करने के साथ यात्रियों को भी सीधे सुझाव देने का मौका दिया गया है।
इस पर 30 नवंबर 2025 तक राय भेजी जा सकती है डीजीसीए ने माना है की टिकट रद्द या फ्लाइट कैंसिल होने पर राशि वापसी में देरी मनमानी कटौती और बिना अनुमति क्रेडिट सेल ठोकने की शिकायत तेजी से बढ़ी है।
बहुत सी बार यात्रियों को महीनो इंतजार करना पड़ता था और एयरलाइंस टैक्स व फीस तक लौटने से बच जाती थी।
डीजीसीए ने इसे यात्रियों की असंतुष्टि का प्रमुख कारण मानते हुए अब राशि वापसी की प्रक्रिया को समय बद और पारदर्शी बनाने की दिशा में कदम उठाया है।
 क्रेडिट कार्ड से लिए गए टिकटो पर 7 दिन में राशि वापसी अनिवार्य कर दी गई है । कैश से खरीदें टिकटों पर तुरंत ट्रैवल एजेंट या ऑनलाइन पोर्टल से खरीदे टिकट पर 21 कार्य दिवस के भीतर वापसी अनिवार्य कर दी गई है।
इससे पहले समय सिमां तय नहीं की गई थी। एयरलाइंस को यूजर डेवलपमेंट फीस एयरपोर्ट डेवलपमेंट फीस और पैसेंजर सर्विस फीस जैसी राशि लौटनी होगी। भले ही टिकट नॉन-रिफंडेबल या प्रोमो फैयर पर खरीदा गया हो।
इससे पहले एयरलाइंस इन शुल्कों को रोक लेती थी बुकिंग के 48 घंटे के अंदर-अंदर यात्री बिना किसी शुल्क के टिकट कैंसिल या संशोधित कर सकेगा।
यह सुविधा तभी लागू होगी जब घरेलू उड़ान पांच या अंतरराष्ट्रीय 15 दिनों से अधिक समय बाद की हो पहले बुकिंग के तुरंत बाद कैंसिल करने पर भी भारी शुल्क लिया जाता था।

                                                
