Pop Francisco: कैथोलिक ईसाई धर्मगुरु पोप फ्रांसिस नहीं रहे, 88 वर्ष की उम्र में हुआ निधन
Pop Francisco Death: देश दुनिया में ईसाई धर्म को मानने वाले भक्तों के लिए बुरी खबर सामने आई है। कैथोलिक ईसाई धर्मगुरु पोप फ्रांसिस ने आज दुनिया को अलविदा कह दिया है। पोप फ्रांसिस्को ने 88 वर्ष की उम्र में अपनी अंतिम सांस ली।
आज 21 अप्रैल को वेटिकन के मुताबिक स्थानीय समयानुसार सुबह 7 बजकर 35 मिनट पर पोप का निधन हो गया है। पाठकों को बता दें कि पोप फ्रांसिस इतिहास के पहले लैटिन अमेरिकी पोप थे, जिन्होंने आज दुनिया को अलविदा कह दिया।
स्वास्थ्य समस्याओं से जूझ रहे थे कई महिनों से पोप फ्रांसिस्को
जानकारी के अनुसार पोप फ्रांसिस्को पिछले कई महीनों से स्वास्थ्य से जुड़ी समस्याओं से जंग लड़ रहे थे। स्वास्थ्य ठीक ना रहने के कारण पोप फ्रांसिस्को को 14 फरवरी 2025 को रोम के जेमेली अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
वेटिकन से मिली जानकारी के अनुसार पोप फ्रांसिस्को पिछले कुछ महीनो से निमोनिया और एनीमिया बीमारी से जूझ रहे थे। इनका स्वास्थ्य समस्याएं ठीक करने हेतु अस्पताल में लगातार इलाज भी चल रहा था। फेफड़ों में इन्फेक्शन बढ़ाने की कारण पिछले 5 हफ्तों से वे अस्पताल में ही भर्ती थे।
डॉक्टर को दिखाई दिए किडनी फेल होने के लक्षण
पोप फ्रांसिस्को ने आज 88 वर्ष की उम्र में दुनिया को अलविदा कह दिया है। अस्पताल के अंदर
इलाज के दौरान कैथलिक चर्च के हेडक्वॉर्टर वेटिकन ने जानकारी देते हुए बताया था कि पोप की ब्लड टेस्ट रिपोर्ट में किडनी फेल होने के लक्षण दिखाई दे रहे थे। हालांकि अस्पताल द्वारा उन्हें 14 मार्च 2025 को डिस्चार्ज कर दिया गया था।
पाठकों को बता दें कि पोप फ्रांसिस ने सेम-सेक्स कपल्स को आशीर्वाद देने, पुनर्विवाह को धार्मिक मंजूरी देने और समलैंगिक व्यक्तियों के चर्च आने जैसे बड़े और अहम फैसले लिए थे। हालांकि एक बार चर्चों में बच्चों के यौन शोषण से संबंधित विवादित मामले में माफी भी मांगी थी। पोप फ्रांसिस पहले व्यक्ति थे, जो 1300 साल के इतिहास में पहली बार गैर-यूरोपियन पोप चुने गए।