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Guna News: बसों की छत व छोटे वाहनों में ओवरलोडिंग कर यात्रियों को करा रहे खतरों भरा सफर

 

Guna News: जिले के ग्रामीण रूटों पर चलने वाले छोटे सवारी वाहनों में इस समय जमकर ओवरलोडिंग चल रही है। हालात यह हैं कि इन वाहनों में सवारियों को ठूंस ठूंस कर भरा जाता है और जब सवारियां ज्यादा हो जाती हैं तो उन्हें छत पर बैठकर सफर कराया जाता है। कई बार वाहन के पीछे खड़ी सवारियां वाहनों के गड्डों से गुजरते समय गिर जाती हैं। इस तरह की घटनाएं ग्रामीण रूटों पर आए दिन होती रहती हैं।

शहर में यातायात विभाग और पुलिस वाहन संचालकों पर कार्रवाई तो कर रही है लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में ऐसी लापरवाहियां नजर आ रही हैं। जहां वाहन संचालक बिना किसी खौफ के 7 और 10 सीटर वाहनों में क्षमता से अधिक सवारियां भर रहे हैं। इन वाहनों में जितनी सवारियां अंदर बैठी होती हैं उतनी ही सवारियां बाहर लटककर या छत पर सफर करती हैं।

शहर में ऑटो, मैजिक सहित डग्गामार वाहनों में पीछे खड़ी सवारियों को बड़ी परेशानी होती है। सड़क पर हुए गड्डों से छोटे वाहनों के गुजरते समय कई बार पीछे खड़ी सवारियां उचक्कर गिर जाती हैं। इससे कई बार यात्री गंभीर घायल भी हो जाते हैं। इस तरह की घटनाएं क्षेत्र के ग्रामीण रूटों पर आए दिन होती रहती हैं।

मुख्यालय पर कार्रवाई, लेकिन ग्रामीण क्षेत्र में नहीं हो रही कार्रवाई

शहरी क्षेत्र से ग्रामीण क्षेत्र में जाने वाले इन वाहनों पर यातायात विभाग और पुलिस द्वारा कार्रवाई की जा रही है फिर भी चोरी छुपे ग्रामीण क्षेत्रों में वाहन संचालकों की मनमानी नहीं रुक रही है। इससे इन वाहन चालकों के हौंसले बुलंद हैं और यह बिना किसी डर के छोटे वाहनों व बसों में जमकर ओवरलोडिंग कर रहे हैं।

इन मार्गों पर सबसे ज्यादा ओवरलोडिंग

क्षेत्र के झागर से फतेहगढ़, बमोरी, रामपुर और राजस्थान की ओर जाने वाले मार्गों पर इस तरह के वाहनों को देखा जा रहा है। गत दिनों ऐसा ही एक बस झागर में मुख्य सड़क पर ग्रामीणों को छत पर बैठाकर यात्रा करती नजर आई। वहीं इसी रूट से छबड़ा, बारा राजस्थान की ओर जाने वाले झागर, फतेहगढ़, होकर राजस्थान के नाहरगढ़ जाने वाले मार्ग पर इस तरह के वाहन चलते हुए देखे जा रहे हैं। वहीं दूसरा मार्ग फतेहगढ़ हमीरपुर होते हुए छबड़ा को जाता है। जहां आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र है।

सीजन के समय होती है अधिक परेशानी

शादी विवाह और त्योहारों के सीजन में सवारियों की संख्या अधिक होने के कारण इस तरह की समस्या अधिक होती है। शादी विवाह के सीजन में बसों की बारात आदि में बुकिंग होने के कारण यात्रियों को ऐसे हालात का सामना करना पड़ता है। ऐसे में वाहन चालकों द्वारा यात्रियों से मनमाना किराया भी वसूला जाता है। सड़क पर दौड़ने वाली ओवरलोड बसें दूसरे वाहन चालकों के लिए खतरा साबित हो रहे हैं।

बस को इस कदर ओवरलोड किया जाता है कि सवारियों की जान को जोखिम में डाल कर बस की छतों पर सफर करवाया जा रहा है। सवारियों के छतों पर बैठने से जहां गिरने का खतरा बना रहता है, वहीं सड़क के दोनों ओर झुके पेड़ों की टहनियां कभी भी छत पर सफर कर रहे लोगों के लिए घातक सिद्ध हो सकती हैं। सड़कों पर दौड़ रही ज्यादातर प्राइवेट बसें सभी कानून एवं कायदों को दरकिनार करते हुए सरेआम ट्रैफिक नियमों की उल्लंघन कर रही हैं।