कैसे बनता है नया देश? बलूचिस्तान को नया देश से बनने के लिए सबसे पहले कहां करना होगा आवेदन, जानें
पाकिस्तान के लोग अभी तक ऑपरेशन सिंदूर का जख्म नहीं भूल पाए हैं इसी बीच पाकिस्तान में बलूचिस्तान को अलग देश बनाने की मांग तेज हो गई है। बलूचिस्तान के लोगों का कहना है कि पाकिस्तान उनके ऊपर बहुत ज्यादा अत्याचार करता है। उनके साथ हिंसा होती है और उनकी महिलाओं का अपहरण कर लिया जाता है। यही वजह है कि अब बलूचिस्तान के नेता आजादी की मांग करने लगे हैं। बलूचिस्तान के बड़े-बड़े नेताओं ने यूनाइटेड नेशन भारत समेत कई देशों से बलूचिस्तान को अलग राष्ट्र बनाने की मांग की है। तो आईए जानते हैं कैसे बनता है अलग देश और सबसे पहले कहां करना होता है आवेदन...
बलूच नेता दुनिया भर से मांग रहे हैं मदद
बलूचिस्तान के नेता मीर यार ने पूरी दुनिया से समर्थन मांगा है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान उनके ऊपर बहुत अत्याचार करता है इसलिए उन्होंने औपचारिक आजादी की घोषणा भी कर दी है। संयुक्त राष्ट्र से बलूचिस्तान को अलग देश के रूप में मान्यता देने के लिए उन्होंने करंसी पासपोर्ट और अरबो रुपए का फंड भी मांगा है। भारत सरकार से बलूचिस्तान का एक अलग दूतावास नई दिल्ली में खोलने की मांग की गई है,
मुश्किल है बलूचिस्तान का अलग देश बना
बलूचिस्तान पाकिस्तान का 44% हिस्सा है ऐसे में पाकिस्तान की सरकार कभी भी बलूचिस्तान को अलग राष्ट्र बनाने के लिए राज्य नहीं होगी। बलूचिस्तान का अलग राष्ट्र बनने के लिए यूनाइटेड नेशन के साथ दुनिया की कई प्रमुख शक्तियों का एक साथ आना जरूरी है।
कैसे बनता है अलग देश
किसी भी देश को अलग राष्ट्र बनाने के लिए सबसे पहले संयुक्त राष्ट्र महासचिव को आवेदन देना होता है। सुरक्षा परिषद के संज्ञान में यह बात लाई जाती है कि कोई देश क्यों अलग होना चाहता है। सुरक्षा परिषद में टोटल 15 सदस्य देश है ऐसे में काम से कम 9 सदस्य देशों का समर्थन मिलना जरूरी है। इसमें पांच अस्थाई मेंबर है जो कि अमेरिका रूस चीन ब्रिटेन और फ्रांस है। इसमें से अगर कोई एक देश खिलाफ में वोट देता है तो आवेदन अपने आप रद्द हो जाता है।
बलूचिस्तान ने खुद को अलग कर दिया है लेकिन बलूचिस्तान का अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अलग देश बना अभी बेहद मुश्किल है। जब किसी आजाद घोषित देश को संयुक्त राष्ट्र की सदस्यता मिल जाती है तभी वह किसी अन्य देश से अंतरराष्ट्रीय सहायता ले पाएगा।