Admirable Initiative : विकास की योजनाओं के साथ विरासत को सहेजने की शुरुआत,दर्शनीय बनेगा घण्टाघर, विधायक काश्यप की सराहनीय पहल
रतलाम,13 जनवरी (इ खबरटुडे)। यह रतलाम के इतिहास में शायद पहला अवसर है जब विकास की ढेरों योजनाओं के साथ शहर ऐतिहासिक विरासत को सहेजने संवारने के लिए भी गंभीर प्रयास किए जा रहे है। शहर विधायक चैतन्य काश्यप ने महलवाडे के मुख्यद्वार घण्टाघर के सौन्दर्यीकरण के लिए अपनी विधायक निधि से पच्चीस लाख रु. देने की घोषणा की है।
महलवाडे का मुख्य द्वार यानी घण्टाघर किसी जमाने में रतलाम की पहचान या सिम्बाल का दर्जा रखता था। यहां लगी घडी सचमुच में समय भी बताया करती थी। लेकिन समय के साथ साथ इस पर उपेक्षा की धूल चढती रही। घण्टाघर की घडी बंद हो गई। मुख्यद्वार के भीतर अतिक्रमण हो गए और समय के गुजरने के साथ रतलाम की पहचान का दर्जा रखने वाला यह घण्टाघर भूला दिया गया। कमोबेश यही हाल रतलाम के राजमहल रंजीत विलास पैलेस का हुआ है। जिसके दरबार हाल में चमगादडों ने कब्जा कर लिया है और पूरा रंजीत विलास पैलेस नष्ट होने की कगार पर जा पंहुचा है।
शहर विधायक चैतन्य काश्यप ने अपने दोनो कार्यकालों में अपना पूरा फोकस शहर के विकास कार्यो पर रखा है। मेडीकल कालेज जैसी ऐतिहासिक उपलब्धि जहां उनके खाते में दर्ज है,वहीं सिटी फोरलेन,शहर की भीतरी सडक़ों को फोरलेन में तब्दील करने,नमकीन क्लस्टर बनाने,अवैध कालोनियों का नियमितिकरण करने और शहरी आवासहीनों के लिए पक्के घर बनाकर देने तथा इस जैसे और कई विकासकार्यो को शुरु करवा कर उन्हे पूरा करने श्रेय भी शहर विधायक चैतन्य काश्यप को है।
विकास की इस यात्रा में ऐतिहासिक महत्व के स्थलों का विकास कहीं पीछे छूटता दिखाई दे रहा था। लेकिन अब ऐतिहासिक धरोहरों को सहेजने का काम भी शुरु हो रहा है। ऐतिहासिक अमृत सागर तालाब वर्षों की उपेक्षा झेलते झेलते गन्दे पानी और जल कुंभी का तालाब बन चुका था। इसके लिए शासन स्तर पर किए गए प्रयासों के चलते झील संरक्षण योजना में इसे शामिल किया जा चुका है और इसके सौन्दर्यीकरण का काम भी अब गति पकड चुका है।
रतलाम का रंजीत विलास पैलेस और घण्टाघर भी सरकारी उपेक्षा और भू माफियाओं के षडयंत्रों का शिकार होकर पूरी तरह नष्ट होने के कगार पर पंहुच चुका है। लेकिन शहर विधायक चैतन्य काश्यप ने घण्टाघर के लिए विधायक निधि से 25 लाख रु. स्वीकृत कर अब इन ऐतिहासिक धरोहरों के उद्धार की राह भी खोल दी है। विकास कार्यों के साथ विरासतों को सहेज कर ही शहर को वास्तविक तौर पर विकसित किया जा सकता है। शहर विधायक की यह पहल जहां प्रदेश के अन्य शहरों के लिए भी एक नजीर बनेगी,वहीं रतलाम के लिए अपनी पुरानी पहचान को फिर से हासिल करने का माध्यम बनेगी। शहर विधायक श्री काश्यप की इस पहल को शहर में काफी सराहना प्राप्त हो रही है।