महिल की सनसनीखेज हत्या का खुलासा
पति ने १० लाख रुपए की सुपारी देकर कराई थी हत्या
रतलाम,४ मार्च (इ खबर टुडे)। दस लाख रु.की सुपारी देकर पत्नी की हत्या कराने और शव को उज्जैन जिले के बडनगर में ले जाकर फेंकने के एक सनसनीखेज मामले का खुलासा रतलाम पुलिस ने शनिवार को किया। हत्या का यह मामला बडनगर पुलिस ने दर्ज किया था इसलिए रतलाम पुलिस ने हत्या के षडयंत्र में शामिल पांच आरोपियों को गिरफ्तार कर उन्हे बडनगर पुलिस को सौंप दिया है,जबकि एक आरोपी की मृत्यु हो चुकी है। पुलिस कंट्रोल रुम पर आयोजित एक प्रेसवार्ता में पुलिस अधीक्षक डा.रमनसिंह सिकरवार ने इस सनसनीखेज प्रकरण की विस्तार से जानकारी दी। हत्या की यह वारदात ६ जून २०११ को रतलाम के मोहननगर में हुई थी। मोहननगर निवासी नीरज सोनी ने अपनी पत्नी सीमा उर्फ सोनू ३० की हत्या कर उसका शव एक कार की डीकी में छुपा कर बडनगर थाना क्षेत्र की सीमा में फिंकवा दिया था। डा.सिकरवार ने बताया कि इस हत्याकाण्ड में आरोपी श्याम पिता नन्दकिशोर नि.मराठो का वास,सोनूसिंह पिता नाहरसिंह नि.नागदा हालमुकाम ईश्वरनगर रतलाम,रोमी पिता भेरु नि.दीनदयाल नगर,दिनेश पिता राजेश चावला डोंगरे नगर तथा महादेव उर्फ राजेश पिता मांगीलाल नि.चांदनीचौक को गिरफ्तार किया है। सभी आरोपियों को बडनगर पुलिस को सौंप दिया गया है।
एसपी डा.सिकरवार ने बताया कि मृतका सीमा सोनी के पति नीरज सोनी ने संपत्ति के बंटवारे को लेकर हुए विवाद के बाद उसकी हत्या के लिए आरोपियों को दस लाख रु.में सुपारी दी थी। घटना वाले दिन आरोपियों ने सीमा को नशीला पदार्थ खिलाकर उसकी चाकूओं से हत्या की और बाद में उसका शव बडनगर की पुलिया के पास ले जाकर शव को पैट्रोल डालकर जला दिया था। लाश बरामद होने पर बडनगर पुलिस ने मामला दर्ज किया था।
डा.सिकरवार ने बताया कि सीमा की हत्या के कुछ समय बाद १३ फरवरी २०१२ को हार्ट अटैक से उसके पति नीरज की भी मौत हो गई। हत्या के आरोपियों को तब तक सुपारी के लिए तय किए गए दस लाख का भुगतान नहीं हुआ था। चूंकि सारे मामले की जानकारी नीरज के बडे भाई महादेव उर्फ राजेश को भी थी इसलिए आरोपियों ने रुपयों की मांग उसके भाई से की। महादेव ने आरोपियोंं को चार लाख रु दिए लेकिन छ:लाख देना बाकी था। जब आरोपियों ने बकाया छ: लाख रुपए की मांग महादेव से की तो इस बात को लेकर उनके बीच विवाद हुआ और मुखबिर के जरिये ये सारी सूचना पुलिस तक पंहुची। पुलिस ने खोजबीन कर पूरे मामले का पर्दाफाश किया।
दूसरी ओर सीमा के पिता रामचन्द्र ने जब अपनी पुत्री के बारे में पूछताछ की थी तो उनसे कहा गया था कि सीमा बिना बताए कहीं चली गई है। सीमा के पति नीरज ने सीमा की गुमशुदगी भी दर्ज नहीं कराई थी। सीमा के पिता रामचन्द्र ने काफी खोजबीन के बाद २ जुलाई २०११ को रतलाम के औद्योगिक क्षेत्र पुलिस थाने में गुमशुदगी दर्ज कराई थी। एस पी डा.सिकरवार ने इस सनसनीखेज हत्याकाण्ड का पर्दाफाश करने वाले आठ आरक्षकों को नगद पुरस्कार देने की घोषणा की है।