November 23, 2024

चहुंओर गूंजा ‘जिनशासन के राजा पधार रहे हैं……..’

राष्ट्रसन्तश्री के भव्य प्रवेश चल समारोह का सर्व-समाज द्वारा स्वागत

रतलाम,10 जुलाई(इ खबरटुडे)। राष्ट्रसन्त श्रीमद् विजय जयन्तसेन सूरीश्वरजी म.सा. मुनि मण्डल एवं साधु-साध्वीवृन्द के रतलाम चातुर्मास प्रवेश के अवसर पर आयोजित प्रवेश चल समारोह का जिसका रतलाम के सर्वसमाज ने पलक पावडे बिछाकर अभिनन्दन किया। करीब 3 कि.मी. लंबे अद्वितीय, अभूतपूर्व एवं अविस्मरणीय ऐतिहासिक चल समारोह से सारा शहर ‘जिनशासन के राजा पधार रहे हैं’ और जैन धर्म के जयकारों से गूंज उठा।
ख्ौरादीवास स्थित नीमवाला उपाश्रय से रविवार सुबह राष्ट्रसन्तश्री की पावन निश्रा में प्रवेश चल समारोह की शुरूआत हुई। यहां जिल्ो के प्रभारी एवं ऊर्जा मंत्र्ाी पारस जैन, चातुर्मास आयोजक व विधायक चेतन्य काश्यप, मातुश्री तेजकुंवरबाई काश्यप, श्रीमती नीता काश्यप, सिद्धार्थ-पूर्वी काश्यप, श्रवण-अमि काश्यप, महापौर डा. सुनीता यार्दे, त्र्ािस्तुतिक जैन श्वेताम्बर श्रीसंघ के राष्ट्रीय अध्यक्ष वाघजी भाई वोरा, श्री राजेन्द्र जैन नवयुवक परिषद् के अध्यक्ष रमेश भाई धरु सहित श्रीसंघ एवं समाज के विशिष्टजन उपस्थित थ्ो।pravesh2
भव्य चल समारोह में भारत के 10 से अधिक प्रांतों से आए लोकनृत्य दल के कलाकार अनेकता में एकता का संदेश देते हुए रंगबिरंगी परम्परागत वेशभूषा में 15 से अधिक ट्रालों पर लोकनृत्य की प्रस्तुतियां देते चल रहे थ्ो। उनके पीछे डीजे साउण्ड पर गुरुदेव के भजन गूंज रहे थ्ो। समाज के नवयुवक हाथों में पंचरंगी धर्म-ध्वजा लिए अश्वरोही दल के साथ जिनशासन का गौरव बढ़ा रहे थ्ो। हाथी और घोडे पर गुरुदेव के चित्र्ा शोभायमान थ्ो। प्रवेश चल समारोह में णमोकार मंत्र्ा, भगवान महावीर स्वामी द्वारा कल्पवृक्ष के नीचे साधना, जिनशासन के 6 आचार्यों के दर्शन तथा गुरुदेव श्री राजेन्द्र सूरीश्वरजी म.सा. के जीवन-दर्शन पर केंद्रित भव्य झांकियों को हजारों हजार लोगों ने निहारा। बालिका परिषद् द्वारा सजाए गए जैन धर्म के प्रतीक चिन्हों को वाहन पर सजाया गया था।
नागदा और बैंगलोर की आर्केस्ट्रा के अतिरिक्त जनक मालवा बैण्ड बडनगर और पारस बैण्ड रतलाम की मधुर स्वर लहरियों ने सभी को गुरुभक्ति में तल्लीन कर दिया। इनके पीछे बालिका परिषद् की सदस्याएं हरे और केसरिया साफे पहनकर चल रही थी। जय भवानी ग्रुप मंदसौर तथा रतलाम के ढोलों की थाप पर नवयुवक एवं तरुण परिषद् के सदस्य एक जैसी वेशभूषा और गुलाबी रंग के साफे पहने झूमते-नाचते तथा गाते हुए चल रहे थ्ो। महिला परिषद् की सदस्याएं सिर परpravesh3 आधुनिक एलईडी लाईट वाल्ो मंगल कलश धारण किए हुए थी। इस ऐतिहासिक चल समारोह में मुम्बई से आया ढोल-ताशा ध्वज पथक दल आकर्षण का केन्द्र रहा जिसने बेहतरीन प्रस्तुतियों से समां बांध दिया।
समारोह में राष्ट्रसन्तश्री के दर्शनों का शहर ने लाभ लिया। आचार्यश्री के साथ आयोजक श्री काश्यप चल रहे थ्ो। देशभर से आए हजारों-हजार आचार्यश्री के अनुयायी उनकी जय-जयकार लगाते चल रहे थ्ो। मार्ग में सैकडों स्थानों पर शहर के विभिन्न समाजों, संस्थाओं और संगठनों ने स्वागत मंच, तोरण द्वार सजाकर एवं शीतल पेय स्टॉल की सेवा कर राष्ट्रसन्तश्री का आशीर्वाद प्राप्त किया। लक्कडपीठा क्ष्ोत्र्ा में बोहरा समाज के बुरहानी गाडर््स के सैफी स्काउट बैण्ड ने आमिल साहब जनाब श्ोख हुसैन भाई, मुस्लिम समाज ने शहर काजी जनाब एहमद अली साहब तथा श्री गुरु सिंघ सभा ने ज्ञानी मानसिंहजी एवं समाज के वरिष्ठ पदाधिकारियों की अगुवाई में राष्ट्रसन्तश्री का स्वागत कर आशीर्वाद लिया।
ख्ौरादीवास से होकर चल समारोह गण्ोश देवरी, तोपखाना, चांदनीचौक, लक्कडपीठा होते हुए बाजना बस स्टैण्ड स्थित श्री जैन बालक उ.मा.वि. के रास्ते चातुर्मास स्थल जयन्तसेन धाम पहुंच धर्मसभा में परिवर्तित हो गया। रतलाम शहर के इतिहास में पहली बार ऐसा भव्य चातुर्मास प्रवेश चल समारोह निकला, जिसका सभी धर्म, जाति और वर्ग के लोगों ने स्वागत करते हुए सामाजिक समरसता को नई ऊर्जा प्रदान कर नया इतिहास रच दिया।

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